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Bihar Caste Survey: दस बड़ी जातियों में दो मुस्लिम, सवर्णों में ब्राह्मण से अधिक शेख; जानें कौन-किस नंबर पर

Bihar Caste Survey जाति आधारित गणना की रिपोर्ट राज्य में जारी हो चुकी है। सर्वे में खुलासा हुआ है कि मुस्लिम सवर्ण की भागीदारी हिंदू सवर्ण से अधिक है। दरअसल हिंदू सवर्ण श्रेणी में ब्राह्मण सर्वाधिक हैं लेकिन मुस्लिम में सवर्ण श्रेणी में शेख की आबादी ने ब्राह्मण को भी पीछे छोड़ दिया है। राज्य की आबादी में शेख पांचवें और ब्राह्मण छठे स्थान पर हैं।

By Jagran NewsEdited By: Aysha SheikhUpdated: Fri, 06 Oct 2023 11:50 AM (IST)
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Bihar Caste Survey: दस बड़ी जातियों में दो मुस्लिम, सवर्णों में ब्राह्मण से अधिक शेख; जानें कौन-किस नंबर पर
जागरण संवाददाता, पटना। बिहार में जाति आधारित गणना की रिपोर्ट समाज में विभिन्न समुदायों की अंक गणितीय स्थिति दर्शा रही है, जिनमें पिछड़े वर्ग में यादव सर्वाधिक 14.27 प्रतिशत हैं।

वहीं, हिंदू सवर्णों में ब्राह्मण सर्वाधिक हैं, पर मुस्लिम समुदाय में सवर्ण श्रेणी में शेख की आबादी इनसे अधिक है। इसका मतलब है कि राज्य की जनसंख्या में मुस्लिम सवर्ण की भागीदारी हिंदू सवर्ण से अधिक है।

बड़ी आबादी वाली 10 जातियों में दो मुस्लिम समुदाय से हैं। हिंदू सवर्ण में सबसे अधिक संख्या ब्राह्मण की बताई गई है। वहीं, मुस्लिम आबादी की बात करें तो शेख सवर्ण में आते हैं और अनारक्षित श्रेणी में हैं, जिनकी आबादी ब्राह्मण से अधिक है।

शेख पांचवें और ब्राह्मण छठे स्थान पर

राज्य की आबादी में भागीदारी के हिसाब से 3.82 प्रतिशत के साथ शेख पांचवें और 3.66 प्रतिशत के साथ ब्राह्मण छठे स्थान पर हैं। सर्वाधिक आबादी वाली 10 जातियों में हिंदू सवर्ण से ब्राह्मण व राजपूत हैं।

भूमिहार 2.87 प्रतिशत की भागीदारी के साथ 11वें तथा कायस्थ 0.60 प्रतिशत की भागीदारी के साथ 37वें स्थान पर हैं। मुस्लिम बिरादरी के मोमिन (जुलाहा व अंसारी) की आबादी 46 लाख 34 हजार 245 है और ये 3.54 प्रतिशत भागीदारी के साथ सातवें नंबर पर हैं।

पठान की आबादी नौ लाख 86 हजार 665 व भागीदारी प्रतिशत 0.75 तथा सैयद दो लाख 97 हजार 975 हैं। इनकी भागीदारी का प्रतिशत 0.22 है। पठान 32वें तथा सैयद 53वें स्थान पर हैं।

पटना विश्वविद्यालय के सामाजिक विज्ञान विभाग के पूर्व अध्यक्ष प्रो. आरएन शर्मा बताते हैं कि हिंदू में सवर्ण या सामान्य वर्ग श्रेणी में ब्राह्मण, राजपूत, भूमिहार और कायस्थ शामिल हैं। जाट को भी सामान्य श्रेणी में रखा गया है, लेकिन इनकी आबादी राज्य में नहीं है।

अब मलिक सामान्य श्रेणी में नहीं?

मौलाना मजहरुल हक अरबी एवं फारसी विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो. एजाज अली अरसद ने बताया कि मुस्लिम में शेख, सैयद और पठान सवर्ण या सामान्य श्रेणी में आते हैं। पहले मलिक भी सामान्य श्रेणी में थे। राज्य सरकार ने 2009 में इन्हें ओबीसी का दर्जा दे दिया।

हालांकि, केंद्र में मलिक आज भी सामान्य श्रेणी की सूची में हैं। राज्य में इनकी कुल आबादी एक लाख 11 हजार 655 है। आबादी में इनकी भागीदारी का प्रतिशत 0.08 है।

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