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'रामचरितमानस में पोटेशियम साइनाइड...', शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर भूले CM नीतीश की नसीहत; फ‍िर दिया विवाद‍ित बयान

बिहार के शिक्षा मंत्री डा. चंद्रशेखर ने गुरुवार को फिर विवादित बयान दिया। हिंदी दिवस पर बिहार हिंदी ग्रंथ अकादमी में कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि रामचरितमानस में पोटेशियम साइनाइड है जबतक यह रहेगा तब तक इसका विरोध करते रहेंगे। मंत्री यहीं नहीं रुके रामचरितमानस के अरण्य कांड की चौपाई पूजहि विप्र सकल गुण हीना शुद्र न पूजहु वेद प्रवीणा को लेकर कहा कि यह क्या है?

By Akshay PandeyEdited By: Prateek JainUpdated: Thu, 14 Sep 2023 10:58 PM (IST)
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हिंदी दिवस पर आयोजित कार्यक्रम के दौरान शिक्षा मंत्री प्रो. चन्द्रशेखर ने दिया विवादित बयान। जागरण
जागरण संवाददाता, पटनाः बिहार के शिक्षा मंत्री डा. चंद्रशेखर सिंह ने गुरुवार को फिर विवादित बयान दिया। हिंदी दिवस पर बिहार हिंदी ग्रंथ अकादमी में कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि रामचरितमानस में पोटेशियम साइनाइड है, जबतक यह रहेगा तब तक इसका विरोध करते रहेंगे।

मंत्री यहीं नहीं रुके, रामचरितमानस के अरण्य कांड की चौपाई पूजहि विप्र सकल गुण हीना, शुद्र न पूजहु वेद प्रवीणा को लेकर कहा कि यह क्या है? क्या इसमें जाति को लेकर गलत बात नहीं कही गई है? इसके बाद मंत्री ने बोला कि पिछली बार रामचरितमानस के सुंदर कांड के दोहे पर जीभ काटने की कीमत 10 करोड़ रुपये लगाई गई थी तो मेरे गले की कीमत क्या होगी?

फोटो- हिंदी दिवस पर आयोजित कार्यक्रम का उद्वघाटन करते शिक्षा मंत्री प्रो. चन्द्रशेखर व अन्य।

मंत्री ने कहा कि क्या गुणहीन विप्र पूजनीय है और गुणयुक्त शूद्र वेद का जानकार होने पर भी पूजनीय नहीं है। मंत्री ने कहा कि मुझे देश से बाहर जाने की बात कही जाती है।

मोहन भागवत ने किसी धर्मविशेष पर टिप्पणी की तो उन्हें क्यों नहीं भेजा जाता? जबतक गोदान के पात्र की जातियां बदलेंगी, तबतक उनका विरोध कायम रहेगा।

मंत्री ने कहा कि इन चीजों का विरोध डॉ. राम मनोहर लोहिया और नागार्जुन ने भी किया था। उन्होंने कहा कि एकलव्य का अंगूठा काटा गया। आपलोग जगदेव प्रसाद को गोली मारने के कारण को जरा गूगल करके पढ़िएगा तो पता चल जाएगा कि में किन चीजों का विरोध कर रहा हूं।

'नौवीं वाले से नहीं, 56 इंच वाले से मांगें डिग्री'

प्रो. चंद्रशेखर ने कहा कि लोग 56 इंच वाले से डिग्री क्यों नहीं मांगते। बार-बार नौंवीं पास और आठवीं पास करकर जो लालू यादव के पुत्र पर टिप्पणी होती है, उसपर भी हमें कहना है।

अगर लालूजी के राज में जंगलराज ही था तो चौकीदार की तरह, 56 इंच वाले की तरह उस समय भी डिग्री खरीद ली गई होती। हम सच बोलने वाले लोग हैं।

लालू प्रसाद ने यादवों व दलितों को आवाज दी तो इनके खिलाफ साजिश की गई। लोग हमें बताएं कि जब सबके पूर्वज चिम्पैंजी थे तो ये जातियां कहां से आईं?

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