Bihar Land Survey: अंचलाधिकारियों को सरकार का अल्टीमेटम, रैयतों के विवाद सुलझाने में देरी पर मिलेगी 'सजा'
Bihar Land Survey बिहार में इन दिनों जमीन के सर्वे का काम चल रहा है। ऐसे में जमीन से जुड़े विवाद भी सरकारी कार्यालयों तक पहुंच रहे हैं। इसे लेकर हुई समीक्षा बैठक में सभी विवादों को जल्द से जल्द निपटाने का अंचलाधिकारियों को अल्टीमेटम दिया गया है। इसके साथ ही कहा गया है कि बेहतर काम करने पर पुरस्कार भी दिया जाएगा।
राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य सरकार ने अंचलाधिकारियों को अल्टीमेटम दिया है कि जमीन से जुड़े विवादों को जल्द सुलझा कर पुरस्कार पाएं या लेट-लतीफी कर सजा भुगतने के लिए तैयार रहें।
गुरुवार को यहां आयोजित अंचलाधिकारियों की समीक्षा बैठक में विभागीय मंत्री डॉ. दिलीप जायसवाल, मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा, अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह एवं सचिव जय सिंह ने अंचलाधिकारियों से कहा कि वे सब बेहद संवेदनशील कार्य से जुड़े हुए हैं।
जमीन से जुड़ा विवाद अगर सलट जाए तो राज्य का कायाकल्प हो जाएगा। डॉ. जायसवाल ने कहा कि सरकार सभी सुविधाएं दे रही है तो आपको परिणाम भी देना होगा। लापरवाह अधिकारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई होगी।
रैयतों से मर्यादित व्यवहार करें
उन्होंने कहा कि अंचल में आए रैयतों के साथ मर्यादित तरीके से व्यवहार करें।मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा ने अंचलाधिकारियों से जमीन से जुड़े विवादों की जानकारी ली। अभियान बसेरा, दाखिल-खारिज और भूमि सर्वेक्षण की प्रगति के बारे में भी पूछा।
उन्होंने अंचलाधिकारियों से कहा कि जमीन का विषय आम जनता से जुड़ा है। आपका प्रयास हो कि जनता की समस्याओं का जल्द से जल्द निदान करें। मुख्य सचिव ने कहा कि भूमि विवादों के समाधान के लिए थाना स्तर पर थाना प्रभारियों एवं अंचल अधिकारियों की हो रही संयुक्त बैठकों को और प्रभावी बनाया जाएगा।
कई अंचल अधिकारियों ने मुख्य सचिव को बताया कि इन साप्ताहिक बैठकों में संबंधित थाना प्रभारी अनुपस्थित रहते हैं। इसे मुख्य सचिव द्वारा गंभीरता से लिया गया। मंत्री और मुख्य सचिव कुछ देर के लिए ही समीक्षा बैठक में शामिल हुए।
बाद की कार्यवाही भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह और सचिव जय सिंह की उपस्थिति में चली। बैठक में राज्य के सभी जिलों से दो-दो अंचलाधिकारी आए थे। इसी पैटर्न पर अन्य अंचलाधिकारियों को भी बारी-बारी से बुलाया जाएगा।
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