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Bihar Politics: राजद को 15 दिनों में दूसरा बड़ा झटका, कांग्रेस में भी फूट... मगर असली 'खेल' अभी भी बाकी!

राजद और कांग्रेस के तीन विधायकों ने पाला बदल लिया है। राजद के लिए बीते 15 दिनों में यह दोहरा झटका है। इससे पहले 12 फरवरी को नीतीश सरकार के शक्ति परीक्षण के ऐन पहले राजद विधायक चेतन आनंद नीलम देवी और प्रह्लाद यादव ने एक साथ पाला बदल लिया था। अब भाजपा ने राजद को एक और झटका देने में सफलता हासिल की है।

By Sunil Raj Edited By: Rajat Mourya Updated: Tue, 27 Feb 2024 07:34 PM (IST)
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राजद को 15 दिनों में दूसरा बड़ा झटका, कांग्रेस में भी फूट... मगर असली 'खेल' अभी भी बाकी!

राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार की राजनीति में उठा-पटक का दौर अब तक थमा नहीं है। पिछले महीने महागठबंधन में टूट और नीतीश कुमार के एनडीए में जाने के बाद से विधायकों के टूटने का जो सिलसिला प्रारंभ हुआ है, वह अब भी जारी है। मंगलवार को राजद और कांग्रेस के तीन विधायकों ने पाला बदल लिया और सत्तापक्ष में शामिल हो गए।

जिन विधायकों ने पाला बदला है उसमें कांग्रेस के विक्रम विधायक सिद्धार्थ सौरभ और चेनारी विधायक मुरारी गौतम है। राजद की मोहनिया विधायक संगीत देवी ने राजद को अलविदा कहा है। बिहार विधानसभा में मंगलवार को दूसरी पाली में विधायी कार्य जारी थे। सदन में तृतीय अनुपूरक बजट में शामिल अनुदान मांग पर वाद-विवाद चल रहा था।

15 दिनों में दूसरा झटका

शाम करीब चार बजे विधायक सिद्धार्थ, मुरारी गौतम और संगीता देवी भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष व उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी के साथ विधानसभा पहुंचे और जारी कार्यवाही के बीच ही सत्ता पक्ष की बेंच पर जाकर बैठ गए। विपक्ष के सदस्य कुछ समझ पाते इसके पूर्व पक्ष के विधायकों ने मेज थपथपा कर इनका स्वागत किया। राजद के लिए बीते 15 दिनों में यह दोहरा झटका है।

इससे पहले 12 फरवरी को नीतीश सरकार के शक्ति परीक्षण के ऐन पहले राजद विधायक चेतन आनंद, नीलम देवी और प्रह्लाद यादव ने एक साथ पाला बदल लिया था। अब भाजपा ने राजद को एक और झटका देने में सफलता हासिल की है। वहीं कांग्रेस जो लगातार पार्टी विधायकों के एकजुट होने का दावा कर रही थी उसे भी भाजपा ने बड़ा झटका दिया है।

असली 'खेल' अभी भी बाकी

सूत्रों की माने तो विपक्षी दलों में टूट का यह सिलसिला अभी थमा नहीं है। भाजपा ने संकेत दिए हैं कि आगे आने वाले दिनों में विपक्ष के कुछ और विधायक टूटकर सत्तापक्ष में शामिल होने की कतार में है। राजद और कांग्रेस छोड़ने वाले विधायकों ने आधिकारिक तौर पर यह नहीं स्वीकार किया कि वे भाजपा में जा रहे हैं या फिर जदयू में। हालांकि चर्चा है कि सिद्धार्थ और संगीता देवी भाजपा में जाएंगी। मुरारी गौतम को ठिकाना क्या होगा इस पर संशय है लेकिन इनके भी भाजपा में आने का दावा भाजपा ने किया है।

राजद-कांग्रेस के विधायकों के एनडीए में जाने के बाद राजद में विधायकों की संख्या घटकर 75 जबकि कांग्रेस में विधायकों की संख्या 17 हो गई है। हालांकि विधानसभा में सदस्यों के बैठने की व्यवस्था में कोई बदलाव फिलहाल नहीं होगा। यह व्यवस्था तब तक रहेगी जब तक राजद और कांग्रेस छोडऩे वाले विधायक किसी दल के साथ संबद्ध नहीं हो जाते हैं।

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