बिहार के इन तीन जिलों में खुलेगी 'दीदी की रसोई', 1 करोड़ से अधिक आएगा खर्च; ये है नीतीश सरकार का प्लान
Didi Ki Rasoi बिहार के तीन जिलों के पांच अनुमंडलीय अस्पतालों में जल्द ही दीदी की रसोई खुलेगी। इसके लिए 1 करोड़ से अधिक की राशि स्वीकृत की गई है। जल्द ही भवन निर्माण शुरू हो जाएगा। पूर्वी चंपारण के अलावा औरंगाबाद जिले के अनुमंडल अस्पताल दाउदनगर और अररिया जिलान्तर्गत फारबिसगंज अनुमंडल अस्पताल में दीदी की रसोई खोली जानी है।
राज्य ब्यूरो, पटना। प्रदेश के तीन जिलों के और पांच अनुमंडल अस्पतालों में दीदी की रसोई खुलेगी। सरकार ने बिहार स्वास्थ्य सेवाएं आधारभूत संरचना निगम के प्रस्ताव के बाद इस पर स्वीकृति दे दी है। पांच नई दीदी की रसोई निर्माण के लिए एक करोड़ से अधिक रुपये भी स्वीकृत किए गए हैं।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के निर्देश के बाद राज्य के सरकारी अस्पतालों में भर्ती होने वाले रोगियों को स्वच्छ और पौष्टिक भोजन मुहैया कराने के उद्देश्य से जीविका समूह को दीदी की रसोई प्रारंभ करने के निर्देश दिए गए थे।
अनुमंडलीय अस्पतालों में खोली जा रही दीदी की रसोई
एक जिले में योजना के सफल होने के बाद धीरे-धीरे सभी जिला, अनुमंडल स्तर के अस्पतालों के अलावा सभी सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में प्रभावी किया गया है। विभाग से मिली जानकारी के अनुसार, फिलहाल अनुमंडलीय अस्पतालों में दीदी की रसोई खोलने का कार्य चल रहा है।
इन जिलों को मिलेगा लाभ
विभाग को हाल ही में राज्य स्वास्थ्य सेवाएं आधारभूत संरचना निगम ने पूर्वी चंपारण के तीन अनुमंडल अस्पताल पकड़ीदयाल, चकिया और अरेराज में दीदी की रसोई प्रारंभ करने का प्रस्ताव दिया था। पूर्वी चंपारण के अलावा औरंगाबाद जिले के अनुमंडल अस्पताल दाउदनगर और अररिया जिलान्तर्गत फारबिसगंज अनुमंडल अस्पताल में दीदी की रसोई खोली जानी है।
प्रस्ताव पर विचार करने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने दीदी की रसोई के भवन निर्माण के लिए राशि स्वीकृत कर दी है। पूर्वी चंपारण को तीन अनुमंडल अस्पताल के लिए 20.9 लाख रुपये प्रति अस्पताल की दर से 60.27 लाख, औरंगाबाद के लिए 22.45 लाख जबकि फारबिसगंज के लिए 22.23 लाख रुपये स्वीकृत किए गए हैं।