Move to Jagran APP

Flood in Bihar: बिहार में गंगा, गंडक और कोसी नदियों का तांडव, भागलपुर-खगड़िया सहित कई जिलों में बाढ़ जैसे हालात

Bihar Flood News बिहार में गंगा कोसी बागमती और गंडक सहित तमाम नदियां अपने उफान पर हैं। अधिकांश नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। भागलपुर खगड़िया और मुंगेर सहित कई जिलों में इसका तांडव भी देखने को मिल रहा है। इन जिलों के कई तटीय इलाकों पानी घुसने की वजह से सैंकड़ों लोग विस्थापन के लिए मजबूर हो गए हैं।

By Jagran News Edited By: Mohit Tripathi Updated: Mon, 12 Aug 2024 11:10 AM (IST)
Hero Image
बिहार में बढ़ रहा नदियों का जलस्तर। (सांकेतिक फोटो)
जागरण टीम, पटना। बिहार में गंगा और इसकी सहायक नदियों के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है। रविवार को कोसी नदी का डिस्चार्ज सुपौल स्थित बराज पर 2.10 लाख क्यूसेक रिकार्ड किया गया। खगड़िया में सभी नदियां उफान पर हैं।

भागलपुर में गंगा नदी से सटे शहर और आसपास के क्षेत्र में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। वहीं, पटना के तीन स्थानों पर गंगा नदी का जलस्तर लाल निशान को पार कर गया है।

पुनपुन भी एक जगह खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। इस कारण पानी का फैलाव तेजी से तटीय और दियारा इलाकों में हो रहा है। स्थिति को देखते हुए प्रशासन अलर्ट मोड में है।

गंडक नदी के जलस्तर में भी वृद्धि

नेपाल के जल अधिग्रहण क्षेत्र में बारिश होने से पश्चिम चंपारण के पिपरासी में गंडक नदी के जलस्तर में वृद्धि हुई है। नदी का दबाव पीपी तटबंध के विभिन्न कटाव स्थलों पर बना हुआ है। खगड़िया जिले में बाढ़ का पानी तेजी से निचले इलाकों में फैल रहा है।

खगड़िया के परबत्ता में गंगा खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। यहां कई विद्यालय परिसर में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है। दरियापुर भेलवा पंचायत की वार्ड नंबर छह में बाढ़ आ गई है।

खगड़िया में कोसी खतरे के निशान से एक मीटर 24 सेंटीमीटर, बागमती एक मीटर 56 सेंटीमीटर, गंगा 40 सेमी और बूढ़ी गंडक 32 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। बढ़ते जलस्तर को देखते हुए बांध-तटबंधों की निगरानी बढ़ा दी गई है।

भागलपुर के इन इलाकों तक पहुंचा बाढ़ का पानी

भागलपुर शहर के बूढ़ानाथ, बरारी, गंगा किनारे सीढ़ी घाट, पुल घाट, मीरा चक, इंजीनियरिंग कालेज, ट्रिपल आइटआइटी, जियाउद्दीनपुर चौका, नवटोलिया, बाबूपुर, रजंदीपुर, संत नगर, घोषपुर, फरका, इंग्लिश, चांयचक आदि जगहों के मुहाने तक बाढ़ का पानी दस्तक दे रहा है। सबौर प्रखंड के भिट्ठी जमसी रोड करीब दो फीट तक बाढ़ का पानी बह रहा है।

मुंगेर में तटवर्ती क्षेत्रों में बाढ़

मुंगेर में गंगा का जलस्तर प्रति घंटे आधा सेंटीमीटर की दर से बढ़ रहा है। फिलहाल, यह खतरे के निशान से 83 सेंटीमीटर नीचे है। जलस्तर में बढ़ने से तटवर्ती क्षेत्रों में बाढ़ आ गई है।

अररिया व किशनगंज का ऐसा है हाल

अररिया में बकरा, परमान और नूना नदी का जलस्तर फिलहाल स्थिर है। किशनगंज में भी महानंदा, रतुआ, कनकई सहित अन्य सहायक नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से नीचे है। जलस्तर में उतार-चढ़ाव के कारण नदियां अपने किनारों का कटाव कर रही हैं।

पटना में  खतरे के निशान के ऊपर बह रही नदियां

पटना के दीघा घाट पर नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 11, गांधी घाट पर 80 और हाथीदह में 56 सेंटीमीटर ऊपर है। पुनपुन में यह लाल निशान 50.60 मीटर से 51 सेमी ऊपर है।

गंगा-सोन बाढ़ सुरक्षा प्रमंडल की ओर से जारी रिपोर्ट के अनुसार, सभी जगहों पर पानी बढ़ रहा है। जलस्तर में वृद्धि से पानी तेजी से फैल रहा है। बिंदटोली में चारों ओर पानी भर गया है। इसके अलावा रिवर फ्रंट पर भी पानी जमा है।

बक्सर में गंगा के जलस्तर में कमी 

बक्सर में गंगा का जलस्तर आधा सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से कम हो रहा है। यहां जलस्तर चेतावनी बिंदु से नीचे आ गया है। अगले कुछ दिनों में जलस्तर में वृद्धि की संभावना नहीं है। प्रयागराज से बक्सर तक हर जगह जलस्तर कम हो रहा है।

भोजपुर में जलस्तर चेतावनी बिंदु से 24 सेमी ऊपर है। बलिया में गंगा खतरे के निशान से पार है, लेकिन जलस्तर घट रहा है।

शिवहर में फिर डरा रही बागमती

शिवहर में बागमती नदी के जलस्तर में रविवार को एक बार फिर हल्की वृद्धि हुई है। पिछले 24 घंटे में जलस्तर 12 सेंटीमीटर बढ़ा है। नदी खतरे के निशान 61.28 मीटर से 36 सेंटीमीटर नीचे बह रही है।

मोहारी, अदौरी और डुब्बाघाट सहित कई इलाकों में कटाव से कई एकड़ जमीन सहित फसलें नदी की धारा में विलीन हो गई हैं। जल संसाधन विभाग की टीमें कटाव रोधी कार्य में लगी हैं।

यह भी पढ़ें: Bihar Flood News: मुंगेर में गंगा ने वार्निंग लेवल किया क्रॉस, गांव में फैलने लगा पानी; मची अफरा-तफरी

Jehanabad Stampede News: जहानाबाद के सिद्धेश्वर नाथ मंदिर में भगदड़ मचने से 7 श्रद्धालुओं की मौत, 30 से अधिक घायल

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।