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Bihar: KK पाठक के आदेश से कोचिंग संस्थानों में मची खलबली, सख्त नियमों से शिक्षा के कारोबार पर लग सकता है ताला

KK Pathak कोचिंग संचालन के समय को लेकर शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के आदेश के बाद से अफरातफरी की स्थिति है। हालांकि डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह से हुई कोचिंग संचालकों की ऑनलाइन वार्ता के बाद स्थिति स्पष्ट हुई है। जिलास्तरीय कोचिंग संचालकों से डीएम के संवाद के बाद सोमवार को अनुमंडल स्तर के कोचिंग संचालकों ने डीएम के समक्ष अपनी मांगें रखीं।

By Vyas ChandraEdited By: Mohit TripathiUpdated: Mon, 21 Aug 2023 10:12 PM (IST)
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KK Pathak: कोचिंग संस्थानों पर नकेल कसने की तैयारी। (फाइल फोटो)

जागरण संवाददाता, पटना। KK Pathak : कोचिंग संचालन के समय को लेकर शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के आदेश के बाद से अफरातफरी की स्थिति है। हालांकि, डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह से हुई कोचिंग संचालकों की ऑनलाइन वार्ता के बाद स्थिति स्पष्ट हुई है। जिलास्तरीय कोचिंग संचालकों से डीएम के संवाद के बाद सोमवार को अनुमंडल स्तर के कोचिंग संचालकों ने डीएम के समक्ष अपनी मांगें रखीं।

क्या है केके पाठक का निर्देश

अपर मुख्य सचिव केके पाठक ने स्कूल अवधि में कोचिंग नहीं चलाने का निर्देश दिया था। इसके बाद कोचिंग संचालकों ने विभाग से आग्रह किया। डीएम से भी उनकी वार्ता हुई। निर्देश दिया गया कि स्कूल अवधि में 12वीं तक के बच्चों की कोचिंग नहीं चलेगी।

यदि कोचिंग में पढ़ाना है, तो ऐसे बच्चों को सुबह नौ बजे से पहले या शाम चार बजे के बाद ही बुलाना होगा। स्कूल अवधि में प्रतियोगिता परीक्षाओं की तैयारी संबंधी कोचिंग का संचालन किया जा सकता है।

पटना में 15 सौ कोचिंग संस्थान निबंधित

गौरतलब है कि पटना में करीब पंद्रह सौ कोचिंग संस्थान शिक्षा विभाग से रजिस्टर्ड हैं। यह बात अलग है कि कोचिंग की संख्या इससे कई गुना ज्यादा है। डीएम ने सभी संस्थानों को रजिस्ट्रेशन कराने का निर्देश दिया है।

डीएम ने बताया कि कोचिंग संचालकों की मांगों से विभाग को अवगत कराया जाएगा। संचालकों ने भी विभाग को मांगपत्र सौंपा है। निर्णय विभाग के स्तर से होगा।

हाजीपुर में चल रहे 314 कोचिंग संस्थान, रजिस्ट्रस्टर्ड केवल एक

जागरण संवाददाता, हाजीपुर: हाजीपुर में भी बिना रजिस्ट्रेशन कोई कोचिंग संस्थान संचालित नहीं होंगे। सरकारी विद्यालय के शिक्षक ना तो कोई कोचिंग संस्थान संचालित करेंगे और ना ही उसमें पढ़ाएंगे। ऐसा पाए जाने पर कार्रवाई की जाएगी। विद्यालय संचालन अवधि में सुबह 09 बजे से शाम 04 बजे तक कोचिंग संस्थान का संचालन बंद रहेगा।

सोमवार को जिला प्रशासन की ओर से आयोजित कोचिंग संचालकों की बैठक में यह निर्देश दिया गया है। बिहार सरकार शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक की ओर से जारी पत्र के आलोक में जिला प्रशासन ने बैठक बुलाकर सरकार के इस निर्णय से कोचिंग संचालकों को अवगत करा दिया है।

कोचिंग संचालकों के साथ बैठक

स्थानीय समाहरणालय सभागार में उप विकास आयुक्त चित्रगुप्त कुमार और जिला शिक्षा पदाधिकारी वीरेंद्र नारायण ने जिले के सभी कोचिंग संचालकों के साथ बैठक आयोजित कर बताया कि सुबह नौ बजे से शाम चार बजे के बीच कोई कोचिंग संचालित नहीं किया जाएगा।

कब संचालित कर सकते हैं कोचिंग

सुबह नौ बजे के पहले या शाम चार बजे के बाद कोचिंग संचालित किया जा सकेगा। लेकिन इसके संचालन के लिए कोचिंग का निबंधन कराना अनिवार्य होगा।

कोचिंग संचालन में कोई भी सरकारी या निजी विद्यालयों के शिक्षक शामिल नहीं होंगे और ना ही कोचिंग में पढ़ा सकेंगे।

उप विकास आयुक्त ने क्या कहा 

उप विकास आयुक्त ने कहा कि विद्यालयों में छात्रों की शत-प्रतिशत उपस्थिति अनिवार्य बनाया गया है। 75 प्रतिशत से कम उपस्थिति पर मैट्रिक एवं इंटरमीडिएट का परीक्षा फार्म नही भरा जा सकेगा। इसे लेकर शिक्षा विभाग से प्राप्त पत्र के आलोक में सुबह नौ बजे से संध्या चार बजे तक कोचिंग संचालन पर रोक लगाई गई है।

उन्होंने कहा कि सरकारी या निजी विद्यालय का कोई भी शिक्षक या स्टाफ कोचिंग संचालन में हिस्सा नही लेंगे। कोचिंग संस्थान के संचालन मंडल में यदि किसी कार्यरत सरकारी शिक्षक, कर्मी या पदाधिकारी को रखा गया है, तो इसकी जानकारी जिलाधिकारी को देना अनिवार्य किया गया है।

क्या बोले जिला शिक्षा पदाधिकारी 

जिला शिक्षा पदाधिकारी ने कहा कि सभी कोचिंग संस्थानों को कोचिंग संचालन अधिनियम 2010 का अनुपालन करना होगा। कोचिंग संचालन के लिए पंजीकरण कराना जरूरी है। इसके साथ-साथ जीएसटी नंबर भी लेना होगा। उन्होंने बताया कि जिला में कुल 314 कोचिंग चलाए जा रहे हैं, जिसमें मात्र एक संस्थान ही पंजीकृत है।

वर्तमान में 120 संस्थानों ने जिला शिक्षा पदाधिकारी के कार्यालय को आवेदन प्राप्त हुआ है, जिस पर जांच प्रक्रिया चल रही है और अगले एक सप्ताह में इसके पूरा करा लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि कोचिंग संचालन अधिनियम के अनुसार सभी मानकों को पूरा करने वाले संस्थानों को ही अनुमति दी जाएगी।

गाइडलाइन एवं प्रोटोकॉल का पालन करने का निर्देश

जिला शिक्षा पदाधिकारी ने कहा कि कोचिंग संचालक सरकार के गाइडलाइन एवं प्रोटोकॉल का पालन करें और जरूरी सभी सुविधाएं उपलब्ध कराएं। उन्होंने कहा कि सरकारी विद्यालय के शिक्षक एवं निजी विद्यालय के शिक्षक यदि कोचिंग में पढ़ाते पकड़े जाएंगे, तो इसकी जबावदेही उनपर और कोचिंग संचालक पर निर्धारित की जाएगी। इसके विरुद्ध सरकार के नियम-निर्देशों के अनुसार उन पर आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

शिक्षा विभाग में तिलका मांझी भागलपुर और पटना विवि की समीक्षा बैठक

राज्य ब्यूरो, पटना: शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक ने सोमवार को पटना विश्वविद्यालय और तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के पदाधिकारियों के साथ अलग-अलग बैठक की। उन्होंने बैठक में अंगीभूत महाविद्यालयों एवं संबद्ध डिग्री महाविद्यालयों में नियमित रूप से निरीक्षण करने को कहा है।

साथ ही बिना सूचना दिए गैरहाजिर शिक्षकों के खिलाफ कार्रवाई करने का भी आदेश दिया। उन्होंने यह भी कहा कि लंबित परीक्षा शीघ्र लेकर रिजल्ट का प्रकाशन सुनिश्चत करें। सरकार द्वारा उपलब्ध करायी गई राशि का उपयोगिता प्रमाण पत्र समय से उपलब्ध कराएं।

बैठक में तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के कुलपति एवं कुलसचिव की ओर से अकादमिक, वित्तीय एवं परीक्षा कैलेंडर के क्रियान्वयन किए जाने की प्रगति की जानकारी दी गई। इसके बाद केके पाठक ने पटना विश्वविद्यालय के कुलपति, कुलसचिव और अन्य पदाधिकारियों के साथ बैठक की।

केके पाठक ने समीक्षा बैठक में ओर से कई दिशा-निर्देश दिए गए। इससे पहले दोनों विश्वविद्यालयों द्वारा पावर प्रजेंटेशन के माध्यम से पठन-पाठन से संबंधित गतिविधियों की भी जानकारी दी गई। विद्यार्थियों के नामांकन से लेकर विभिन्न सत्रों की परीक्षाओं की जानकारी विभाग को दी गई। बैठक में विभाग के सचिव बैद्यनाथ यादव और उच्च शिक्षा निदेशक रेखा कुमारी भी उपस्थित थी।

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