Move to Jagran APP

'प्रधानमंत्री मोदी नहीं, कांग्रेस असली...', सदन में ललन सिंह का फूटा गुस्सा; याद दिला दी पुरानी बात

लोकसभा में सोमवार को ललन सिंह राष्ट्रपति के अभिभाषण पर पेश धन्यवाद प्रस्ताव के पक्ष में बोल रहे थे। इस दौरान उन्होंने कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने बिना राहुल गांधी का नाम लिए कहा कि जिस पार्टी के द्वारा इस देश के संविधान को कलंकित करने का काम किया गया आज वही संविधान बचाने की सलाह दे रहा है। नरेंद्र मोदी संविधान का सम्मान करते हैं।

By Jagran News Edited By: Shashank Shekhar Published: Mon, 01 Jul 2024 08:27 PM (IST)Updated: Mon, 01 Jul 2024 08:27 PM (IST)
केंद्रीय मंत्री ललन सिंह और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे। फोटो- जागरण

राज्य ब्यूरो, पटना। केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह ऊर्फ ललन सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी संविधान का सम्मान करते हैं। वे संविधान विरोधी नहीं हैं।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस असली संविधान विरोधी है, जिसने आपातकाल से लेकर अब तक कई बार भारतीय संविधान पर प्रहार किया। ललन सिंह सोमवार को लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर पेश धन्यवाद प्रस्ताव के पक्ष में बोल रहे थे।

उन्होंने विपक्ष के नेता राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा कि जिस पार्टी ने इस देश के संविधान को कलंकित किया है। वह आज संविधान बचाने का दावा कर रही है।

सिंह ने यह भी कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान विपक्ष के नेता संविधान की प्रति लेकर घूम रहे थे। आज भी सदन में इसकी प्रति लेकर आ रहे हैं। कांग्रेस ने नरेन्द्र मोदी के बारे में दुष्प्रचार किया।

देश की जनता को मोदी पर भरोसा- ललन सिंह

उन्होंने कहा कि मोदी सत्ता में आए तो संविधान समाप्त हो जाएगा, लेकिन देश की जनता ने उनकी बातों पर भरोसा नहीं किया। नरेन्द्र मोदी को लगातार तीसरी बार सरकार बनाने के लिए पूर्ण बहुमत दिया। नरेन्द्र मोदी गरीबों की सेवा कर रहे हैं। गरीबों-किसानों की चिंता कर रहे हैं।

ललन सिंह ने कहा कि देश तेजी से विकास कर रहा है। हम दुनिया की पांचवीं अर्थव्यवस्था बन गए हैं। यह उपलब्धि नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में हासिल हुई है।

ये भी पढ़ें-

Nitish Kumar के गढ़ में फिर खेला कर पाएंगी Bima Bharti? महागठबंधन का ऐसा रहा है हाल; यहां पढ़ें रुपौली का पूरा इतिहास

Nitish Kumar : जदयू की बैठक के बाद अचानक एक्टिव हुए नीतीश, इन दिग्गजों से की मुलाकात; फिर वापस लौटे पटना


This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.