Pashupati Paras Resign: 'पहले ही छोड़ देना चाहिए था, हम तो...', पशुपति को लेकर Tej Pratap ने दिया सबसे अलग रिएक्शन
Bihar Politics पशुपति पारस ने एनडीए से नाराजगी के बाद केंद्रीय कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया है। इसको लेकर बिहार में राजनीति तेज हो गई है। तमाम राजनीतिक दल इसपर अपनी प्रतिक्रिया दे रहे हैं। इस बीच लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव ने भी पशुपति पारस को लेकर बयान दिया है। उन्होंने कहा कि एनडीए में नाइंसाफी होती रहती है।
डिजिटल डेस्क, पटना। Bihar Political News Today राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के प्रमुख पशुपति पारस (Pashupati Paras) ने केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया है। वह एनडीए से नाराज चल रहे थे। बिहार में उन्हें एनडीए की तरफ से एक भी सीट नहीं मिली। उनके खाते वाली सीट भी चिराग पासवान को दे दी गई।
अब इस मामले को लेकर बिहार में राजनीति तेज हो गई है। लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव (Tej Pratap Yadav) ने भी इसपर अपना रिएक्शन दिया है। उन्होंने कहा कि एनडीए में तो नाइंसाफी होती ही है। अच्छा किया कि उन्होंने (पशुपति पारस) छोड़ दिया। उनको तो बहुत पहले ही छोड़ देना चाहिए था। यह अच्छा निर्णय है।
महागठबंधन में आते हैं तो उनका स्वागत होगा- तेज प्रताप
इसके साथ तेज प्रताप ने यह भी पशुपति पारस महागठबंधन में आते हैं तो उनका स्वागत होगा और सबसे पहले वही उनका वेलकम करेंगे। उनके आने से अच्छा असर होगा। उन्होंने कहा कि 2025 में भाजपा बिहार में जीत हासिल नहीं कर पाएगी।
काम निकल जाने के बाद लोगों को डंप करना बीजेपी की फितरत- राजद
इससे पहले राजद प्रवक्ता प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने अपनी प्रतिक्रिया दी थी। उन्होंने कि भाजपा की हर सहयोगी पार्टी को इससे सबक लेना चाहिए। काम निकल जाने के बाद लोगों को डंप करना बीजेपी की फितरत है।
#WATCH पटना, बिहार: RLJP प्रमुख पशुपति पारस द्वारा केंद्रीय मंत्री पद से इस्तीफा देने पर राजद नेता तेज प्रताप यादव ने कहा, "NDA में तो नाइंसाफी होती ही है। अच्छा किया कि उन्होंने(पशुपति पारस) छोड़ दिया। उनको तो बहुत पहले ही छोड़ देना चाहिए था...यह अच्छा निर्णय है..." pic.twitter.com/ICVG5DFOC6— ANI_HindiNews (@AHindinews) March 19, 2024
उन्होंने कहा कि भाजपा के हर सयोगी दल को सबक लेना चाहिए। सीखना चाहिए। बीजेपी का यही चरित्र है, मतलब निकल गया तो पहचानते नहीं। अपने सहयोगियों को ही तोड़ती है। अब चिराग को अंदर लाई है तो पशुपति पारस को बाहर का रास्ता दिखा दिया।
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