Patna: जाति आधारित गणना में ट्रांसजेंडर्स को भी मिलेगा उनका सम्मान, एक अलग समूह के रूप में दर्ज होगी पहचान
बिहार में जाति आधारित गणना में ट्रांसजेंडर्स को जाति की सूची में रखने के खिलाफ दायर लोकहित याचिका का सोमवार को पटना हाईकोर्ट ने निष्पादन कर दिया। हाईकोर्ट ने कहा है कि ट्रांसजेंडर समुदाय के सदस्यों को भूलवश भले ही जाति की सूची में दर्ज किया गया है लेकिन उन्हें इस सर्वेक्षण में एक जाति विशेष न मानते हुए एक अलग समूह माना जाए जिनकी अपनी एक निश्चित पहचान है।
By Edited By: Mohit TripathiUpdated: Tue, 22 Aug 2023 12:35 AM (IST)
राज्य ब्यूरो, पटना: बिहार में जाति आधारित गणना एवं आर्थिक सर्वेक्षण में ट्रांसजेंडर्स को जाति की सूची में रखने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर पटना हाईकोर्ट ने निष्पादन कर दिया है।
हाईकोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि ट्रांसजेंडर समुदाय के सदस्यों को भले ही भूलवश जाति सूची में दर्ज किया गया है, लेकिन उन्हें सर्वेक्षण में एक जाति विशेष न मानते हुए एक अलग समूह माना जाए, जिनकी अपनी एक निश्चित पहचान है।
मुख्य न्यायाधीश के. विनोद चंद्रन एवं न्यायाधीश पार्थ सारथी की खंडपीठ ने रेशमा प्रसाद की लोकहित याचिका को निष्पादित करते हुए यह निर्णय सुनाया।