Bihar RERA Rules: रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी का आदेश न मानने वाले प्रमोटरों की संपत्ति होगी जब्त, जाएंगे जेल
रेरा अध्यक्ष ने कहा कि प्राधिकरण परियोजना को समय पर पूरा करने के पक्ष में है। कार्यशाला का उद्देश्य पंजीकरण समाप्त होने से पहले समय पर हस्तक्षेप करना है। उन्होंने प्रमोटरों से आग्रह किया कि वे अपनी परियोजनाओं को रेरा में निबंधन कराने के लिए आवेदन करने से पहले ठीक से होमवर्क कर लें तथा आवेदन के साथ सभी आवश्यक दस्तावेज उपलब्ध कराएं ताकि इसका त्वरित निपटारा किया जा सके।
राज्य ब्यूरो, पटना। Bihar RERA Rules रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी (रेरा) के आदेशों का पालन नहीं करने वाले प्रमोटरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। बिहार रेरा ऐसे प्रमोटरों के खिलाफ कानून के प्रविधान के अनुसार संभावित कार्रवाई करेगा। इसके अंतर्गत जुर्माना लगाने और डिफॉल्टर की चल-अचल संपत्ति तो जब्त होगी ही, आवश्यक हो तो दोषियों को गिरफ्तार भी किया जाएगा।
बिहार रेरा के अध्यक्ष विवेक कुमार सिंह ने मंगलवार को प्रमोटरों की कार्यशाला में यह बातें कहीं। इस कार्यशाला में ऐसे 41 प्रमोटरों को आमंत्रित किया गया था, जिनके रियल इस्टेट प्रोजेक्ट का निबंधन इस साल 30 सितंबर तक समाप्त होने वाला है।
'निबंधन के लिए ठीक से होमवर्क कर लें...'
रेरा अध्यक्ष ने कहा कि प्राधिकरण परियोजना को समय पर पूरा करने के पक्ष में है। कार्यशाला का उद्देश्य पंजीकरण समाप्त होने से पहले समय पर हस्तक्षेप करना है। उन्होंने प्रमोटरों से आग्रह किया कि वे अपनी परियोजनाओं को रेरा में निबंधन कराने के लिए आवेदन करने से पहले ठीक से होमवर्क कर लें तथा आवेदन के साथ सभी आवश्यक दस्तावेज उपलब्ध कराएं, ताकि इसका त्वरित निपटारा किया जा सके।निबंधन की अवधि सिर्फ विशेष परिस्थितियों में ही बढ़ाई जाएगी और इसके लिए प्रमोटरों से अतिरिक्त अधिभार (सरचार्ज) और आवंटियों से संबंधित अन्य विवरण भी लिया जाएगा। रेरा बिहार की सदस्य नूपुर बनर्जी ने कहा कि प्रोजेक्ट के पंजीकरण के समय से ही प्रमोटरों को सक्रिय रहने की जरूरत है, ताकि सभी काम निर्धारित समय पर पूरा हो सके।
'जुर्माना तभी लगाया जाता है, जब...'
रेरा बिहार के सदस्य एसडी झा ने कहा कि जुर्माना तभी लगाया जाता है जब प्रमोटर अधिनियम के प्रविधानों और प्राधिकरण के निर्देशों का पालन करने में विफल रहते हैं। कार्यशाला में एक प्रेजेंटेशन भी दिया गया जिसमें उन बिंदुओं की जानकारी दी गई, जिसमें प्रोजेक्ट को समय पर पूरा करने में सहायता मिलेगी।प्रश्नोत्तर सत्र के दौरान प्राधिकरण के अध्यक्ष एवं सदस्यों के साथ वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा प्रमोटरों की शंकाओं का समाधान किया गया। कार्यशाला में रेरा बिहार के सचिव राजेश थदानी, न्याय निर्णायक अधिकारी ए के तिवारी और वरिष्ठ कानूनी सलाहकार वेद प्रकाश सहित रेरा के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया।ये भी पढ़ें- PM Jeevan Jyoti Bima Yojana: बीमा रिन्यूअल को लेकर आ गया बड़ा अपडेट, 31 मई से पहले करना होगा ये काम
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