विजय सिन्हा ने RJD-JDU की डील को लेकर कह दी बड़ी बात, जदयू बोली- नवरात्र में भी झूठ बोलना नहीं छोड़ सकती BJP
भाजपा विधानमंडल दल के नेता विजय सिन्हा ने कहा है कि जदयू के लिए भाजपा का दरवाजा बंद हो जाने के बाद राजद ने तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री बनाने का दबाव नीतीश कुमार पर बढ़ा दिया है। सिन्हा ने कहा है कि अगस्त-2022 में जदयू ने राजद के साथ जो डील की थी उसमें दिसंबर-22 से जनवरी 2023 में तेजस्वी यादव को नेतृत्व सौंपने बात थी।
राज्य ब्यूरो, पटना। भाजपा विधानमंडल दल के नेता विजय सिन्हा ने कहा है कि जदयू के लिए भाजपा का दरवाजा बंद हो जाने के बाद राजद ने तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री बनाने का दबाव नीतीश कुमार पर बढ़ा दिया है।
सिन्हा ने कहा है कि अगस्त-2022 में जदयू ने राजद के साथ जो डील की थी, उसमें दिसंबर-22 से जनवरी 2023 में तेजस्वी यादव को नेतृत्व सौंपने बात थी। इसके बाद जदयू सुनियोजित ढंग से भाजपा से एकतरफा नजदीकी दिखाने का नाटक करती रही।
अब 14 महीने के बाद राजद को समझ में आ गया कि भाजपा जदयू को अपने साथ नहीं देगी तब उन्होंने तेजस्वी यादव को नेतृत्व सौंपने का दबाव बढ़ा दिया है।
जदयू का भाजपा पर पलटवार
जदयू के राष्ट्रीय महासचिव राजीव रंजन ने शनिवार को कहा कि भाजपा नवरात्रि के दिन भी झूठ बोलना नहीं छोड़ सकती है।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के एक सामान्य से गैर राजनीतिक बयान पर भाजपा के नेता जिस तरह से ओछी राजनीति कर रहे हैं, उससे यह दिखता है कि इन लोगों को पवित्र त्योहार के मौके पर भी झूठ बोलने से परहेज नहीं है।
राजीव रंजन ने कहा कि भाजपा नेताओं का आचरण उनकी मानसिक दरिद्रता को दिखलाता है। वहीं, मुख्यमंत्री का बयान उनके व्यक्तित्व की विराटता को दर्शाता है। उनकी सनातन धर्म को लेकर जो समझ है, उसे दिखाता है।
उनका किसी से वैचारिक मतभेद हो सकता है, लेकिन वह किसी से व्यक्तितगत मनभेद नहीं रखते। सनातनी शिक्षा के अनुसार वह अपने राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों का भी सम्मान करते हैं।
मोदी सरकार को बैंकिंग क्षेत्र में मिला उत्कृष्ट परिणाम : भाजपा
राज्य ब्यूरो, पटना। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता सुरेश रूंगटा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सरकार के नौ वर्षो के शासन के दौरान जितने काम हुए उतने काम आजादी से लेकर 2014 तक के 67 वर्षो में भी नहीं हुए। पिछले नौ वर्षों में देश के हर क्षेत्रों में अभूतपूर्व कार्य हुए है।
=जनसाधारण का खाता खुलवाने से संबंधित जन-धन योजना हो या गरीबों को घर देना हो, शौचालय, मुफ्त गैस कनेक्शन, आयुष्मान भारत के अंतर्गत पां लाख तक स्वास्थ्य बीमा या फिर युवाओं को रोजगार हेतु मुद्रा बैंक से कर्ज मुहैया करवाना हो सभी क्षेत्रों में बेमिसाल काम हुए हैं।
वर्ष 1951 से लेकर मार्च 2014 तक बैंकों ने 142 लाख करोड़ रूपये का कारोबार किया था, जिसमें बैंक में जमा से लेकर ऋण देने तक की राशि शामिल है। वहीं, अप्रैल 2014 से लेकर वर्ष 2023 मार्च तक बैंकों में जमा से लेकर ऋण देने का कारोबार मात्र नौ वर्षो में 187 लाख करोड़ रुपये हुआ है।
यह भी पढ़ें - Bihar Bar Council Election: बार काउंसिल चुनाव के मद्देनजर BCI ने जारी किए दिशा-निर्देश, लिया अहम फैसला
यह भी पढ़ें - 'परमीशन कौन मांग रहा है?' BJP के गेट बंद वाले बयान पर भड़के नीतीश कुमार, सुशील मोदी को लेकर उठा दिया सवाल