Pappu Yadav: गोपाल यादुका हत्याकांड में पप्पू यादव का खुलासा, नीतीश सरकार से कर दी ये डिमांड
सांसद पप्पू यादव ने कहा कि यादुका परिवार प्रशासनिक दबाव और सरकार के दबाव के कारण डरा हुआ है। यादुका परिवार का कहना है कि संजय भगत और गोपाल यादुका का परिवार मिलकर जमीन का काम करता था। संजय भगत गोपाल यादुका की जमीन के लिए ब्रोकरी का काम करता था। उन्होंने इस केस में संजय भगत का नाम दिया ही नहीं। फिर संजय भगत का नाम क्यों घसीटा गया?
जागरण संवाददाता, पूर्णिया। भवानीपुर में हुए व्यवसायी गोपाल यादुका हत्याकांड में सांसद पप्पू यादव ने पुलिस की जांच पर सवाल खड़े किए हैं। सांसद पप्पू यादव ने कहा है कि इस हत्या की घटना को राजनीतिक रंग दिया गया है। पीड़ित परिवार पर प्रशासन और सरकार का दवाब है। इस हाईप्रोफाइल मामले का आईएनडीआईए और एनडीए गठबंधन के बीच राजनीतिकरण कर देना सही नहीं है।
अर्जुन भवन में आयोजित प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए सांसद पप्पू यादव ने कहा कि नीतीश सरकार कहती है कि हम ना किसी को बचाते हैं और ना किसी को फंसाते हैं। इस केस को लेकर प्रदेश के डीजीपी, चीफ सेक्रेटरी, होम सेक्रेटरी से लोगों को काफी उम्मीद है। इस केस को लेकर मेरी गोपाल यादुका के परिवार के दोनों भाई से बातचीत हुई।
उन्होंने कहा कि यादुका परिवार प्रशासनिक दबाव और सरकार के दबाव के कारण डरा हुआ है। यादुका परिवार का कहना है कि संजय भगत और गोपाल यादुका का परिवार मिलकर जमीन का काम करता था। संजय भगत गोपाल यादुका की जमीन के लिए ब्रोकरी का काम करता था। उन्होंने इस केस में संजय भगत का नाम दिया ही नहीं। वह इस केस में कहीं से नहीं। फिर संजय भगत का नाम क्यों घसीटा गया?
पप्पू यादव के अनुसार, यादुका परिवार का कहना है हमें थाना बुलाया गया। थाना में कुछ तस्वीर दिखाई गई। जो विकास यादव की थी। तस्वीर में उसके हाथ में वही गमछा था, जो हत्या के बाद सामने आए सीसीटीवी फुटेज की तस्वीर में बाइक के पीछे बैठे विकास यादव ने पहन रखा था। पुलिस की थ्योरी के मुताबिक, विकास गाड़ी चला रहा था और व्यवसायी की हत्या करने वाला विशाल राय गाड़ी के पीछे बैठा था।
पप्पू यादव ने कहा कि तस्वीर से साफ हो गया कि बाइक के पीछे बैठा युवक विकास यादव है। जबकि बाइक चला रहा युवक कहीं से विशाल राय नहीं।
'बड़ी मछलियों को बचाने का हो रहा प्रयास'
सांसद यादव ने दावा करते हुए कहा पीड़ित परिवार ने उन्हें बताया कि दीपक यादुका से लगातार धमकी मिल रही थी। शंभू जयसवाल, विकास मंडल और जितेंद्र मुखिया की इस मामले में संलिप्तता की जांच हो। इस केस में बड़ी-बड़ी मछलियां शामिल हैं, जिसे बचाने का प्रयास किया जा रहा है। इस कारण इस मामले की सीबीआई जांच जरूरी है।
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