Bihar Jamin Registry: अब सुलभ होगी जमीन रजिस्ट्री, जमाबंदी की अनिवार्यता होगी खत्म! सिर्फ इस बात का इंतजार
नए नियम पर कोर्ट से रोक लगाए जाने बाद में एक बार फिर अपने पिता-दादा की संपत्ति को उनके वारिस पुत्र पौत्र व पुत्री आदि मालिकाना हल रखने वाले लोग बेच सकेंगे। जबकि नए नियम के लागू होने बाद में इन लोगों को पहले अपने नाम पर जमाबंदी कायम करानी होगी। उसके बाद ही वह जमीन बेच सकते थे। इस वजह से रजिस्ट्री की संख्या में कमी आयी थी।
जागरण संवाददाता, समस्तीपुर। Bihar Land Registry जिले में फिर से जमीन निबंधन के काम में तेजी आने की संभावना है। अब तक कम चहल पहल दिखने वाले निबंधन कार्यालय में अब भीड़ बढ़ने की उम्मीद है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद ऐसी उम्मीद लोगों में जगी है। इससे यहां के कातिबों व स्टांप वेंडर के साथ ही आमजनों में खुशी देखी जा रही है।
लोगों को इस नियम की जानकारी मिलते ही रजिस्ट्री की जिज्ञासा ले लोग निबंधन कार्यालय पहुंचकर पूछताछ करने लगे हैं। हालांकि, फिलहाल इसको ले विभाग ने कोई पत्र जारी नहीं किया है। इस समय नए नियम के सहारे ही रजिस्ट्री की प्रक्रिया जारी है।
इससे पूछताछ को आने वाले लोग जानकारी मिलने बाद मायूस होकर घर लौट रहे हैं। हालांकि, जल्द ही विभाग से आदेश आने की उम्मीद लगाई जा रही है। बताया गया कि 22 फरवरी को सरकार ने रजिस्ट्री के नियम में बदलाव करते हुए नए नियम को लागू कर दिया। इसमें रजिस्ट्री को लेकर जमाबंदी अनिवार्य कर दिया गया।
इससे जमीन रजिस्ट्री वहीं कर सकते थे जिनके नाम पर जमाबंदी होती थी।नियम लागू होने के बाद कातिब संघ व आमजनों ने इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एक साथ कई याचिका दायर की थी। सुनवाई करते हुए कोर्ट ने इस पर रोक लगा दिया है। अब विभाग से आदेश आने का इंतजार किया जा रहा है। जिसके बाद जमाबंदी की अनिवार्यता खत्म होगी और एक बार फिर पुराने नियम से रजिस्ट्री होगी।
पुश्तैनी संपती बेच सकेंगे मालिकाना हक रखने वाले
नए नियम पर कोर्ट से रोक लगाए जाने बाद में एक बार फिर अपने पिता व दादा की संपत्ति को उनके वारिस पुत्र, पौत्र व पुत्री आदि मालिकाना हल रखने वाले लोग बेच सकेंगे। जबकि नए नियम के लागू होने बाद में इन लोगों को पहले अपने नाम पर जमाबंदी कायम करानी होगी। उसके बाद ही वह जमीन बेच सकते थे।इस वजह से रजिस्ट्री की संख्या में कमी आयी थी। करीब 70 से 80 फीसदी तक रजिस्ट्री कम हो गई थी। इससे राजस्व के नुकसान के साथ ही कातिबों व निबंधन कार्यालय के स्टांप वेंडर की कमाई घटी है। इन लोगों का पेट पालना भी मुश्किल हो रहा है।
विभाग से इससे संबंधित पत्र फिलहाल प्राप्त नहीं हुआ है। विभागीय पत्र मिलने बाद ही नियम में परिवर्तन किया जाएगा। वर्तमान में सरकार के नए नियम जमाबंदी अनिवार्य के साथ ही रजिस्ट्री की प्रक्रिया जारी है। - हेमंत कुमार, जिला अवर निबंधक पदाधिकारी, समस्तीपुरये भी पढ़ें- Pawan Singh: पवन सिंह या उनकी मां प्रतिमा देवी... आखिर काराकाट से किसने वापस लिया नामांकन?
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