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Bihar News: छपरा के किसानों की बल्ले-बल्ले, एक क्लिक से कंप्यूटर पर पैक्स के एक-एक डाटा होंगे सामने

छपरा के 313 पैक्स में इंटरनेट प्रिंटर और कंप्यूटर लगाए जाएंगे जिससे कंप्यूटरीकरण होने से काम में तेजी और लोगों को सुविधा होगी। सारण जिले में चयनित पैक्सों का आडिट किया गया है और उन्हें साफ्टवेयर से जोड़ा जाएगा। इससे अधिकारी एक क्लिक में पैक्स की गतिविधि देख सकेंगे। केंद्र सरकार और राज्य सरकार दोनों मिलकर इस पर खर्च करेंगी।

By Amritesh Kumar Edited By: Sanjeev Kumar Updated: Sat, 21 Sep 2024 04:07 PM (IST)
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छपरा के किसानों के लिए खुशखबरी (PTI फोटो)

जागरण संवाददाता, छपरा। Chhapra News: छपरा के 313 पैक्स (प्राथमिक साख सहयोग समिति) अब हाइटेक हो रहे है। यहां बेहतर सुविधाएं बहाल की जा रही है। इंटरनेट, प्रिंटर व कम्प्यूटर लगेंगे। इससे एक क्लिक में ही कंप्यूटर पर पैक्स के एक-एक डाटा लोगों के सामने होगा। पैक्स के कंप्यूटरीकरण होने से काम में तेजी के साथ लोगों को सुविधा भी होगी।

सारण जिले में चयनित पैक्सों का आडिट किया गया है। वे साफ्टवेयर से जोड़े जाएंगे। इसके लिए प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है। पैक्स के बही खातों में गड़बड़ी रोकने, रिकार्ड का डिजिटलाइजेशन करने के साथ ही पैक्सों से जुड़ी सभी सेवाओं को आनलाइन करने की प्रक्रिया तेज हो गई है।

इससे एक बार फिर से सहकारी समितियों के कंप्यूटरीकरण की उम्मीद जगी है। इससे देशभर के पैक्सों को एक ही साफ्टवेयर से जोड़ा जाएगा। ये पैक्स आपस में तो नहीं जुड़ेंगे, लेकिन सभी अपने सहकारी बैंकों से जुड़ जाएंगे। उसके बाद निचले स्तर की यह सहकारी समितियां सहकारिता बैंकों के एजेंट के रूप में भी काम करने लगेंगी।

अधिकारी एक क्लिक में जान सकेंगे पैक्स की गतिविधि 

केंद्र सरकार पैक्सों के कंप्यूटराइजेशन की नई योजना शुरू की है। लिहाजा नाबार्ड के साथ राज्य सरकार को भी इस हिसाब से तैयारी करने का निर्देश दे दिया गया है। इसके लिए जितने पैक्सों का आडिट पूरा हो चुका है उसकी सूची विभाग को भेज दिया गया है। विभागीय कार्रवाई जोर-शोर से चल रहा है। जल्द ही सभी चयनित पैक्स साफ्टवेयर से जोड़ दिये जाएंगे।

इसको लेकर प्रस्तावित पैक्स कंप्यूटरीकरण योजना के तहत नाबार्ड का भी समन्वय है। बताया गया है कि पैक्सों को नाबार्ड से भी फंडिंग मिलती है, ताकि कंप्यूटरीकरण होने से विभाग के अधिकारी कहीं भी बैठकर एक क्लिक करते ही कंप्यूटर स्क्रीन पर पैक्स के एक-एक डाटा से रूबरू हो सकेंगे। सारण जिले में अभी तक 193 पैक्स को कंप्यूटरीकृत कर दिया गया है। इसके लिए पैक्स अध्यक्ष एवं प्रबंधकों को प्रशिक्षण भी दिया जा चुका है।

 केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार मिलकर करेगी राशि खर्च 

इसके लिए 60 फीसदी केंद्र व 40 फीसदी राज्य सरकार भुगतान करेगी। सहकारिता विभाग के सचिव ने जिला अंकेक्षण पदाधिकारी को बीते सत्र में ही सभी पैक्सों का अंकेक्षण अपडेट रखने का निर्देश दिया था। इसी के अनुकूल समितियों के अभिलेखों का कंप्यूटराइजेशन होगा।

समितियों के अभिलेखों के कंप्यूटरीकरण की सुगमता के लिए डाटा माइग्रेशन में सुविधाजनक अभिलेख तैयार रखने का निर्देश दिया गया है, ताकि आसानी से पुराने अभिलेखों की इंट्री कराई जा सके। जानकारी हो कि समितियों का कंप्यूटरीकरण भारत सरकार के दिशा निर्देश के अनुकूल कराया जाना है। नई योजना में पैक्सों के कंप्यूटराइजेशन की सभी पुरानी योजनाएं इसी में मर्ज कर दी जाएगी।