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    गोरखपुर–सिलीगुड़ी एक्सप्रेस-वे से खुलेगा विकास का नया द्वार, कोसी क्षेत्र भरेगा रफ्तार

    Updated: Wed, 01 Oct 2025 12:14 AM (IST)

    उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से सिलीगुड़ी तक बनने वाले एक्सप्रेस वे को केंद्र सरकार से मंजूरी मिलने के बाद कोसी क्षेत्र में खुशी की लहर है। भारत माला परियोजना के तहत बनने वाले इस एक्सप्रेस वे से रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और क्षेत्र का विकास होगा। कोसी नदी पर एक और महासेतु बनने से भारत-नेपाल सीमा क्षेत्र देश के मुख्य मानचित्र से जुड़ जाएगा।

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    गोरखपुर–सिलीगुड़ी एक्सप्रेस वे से खुलेगा विकास का नया द्वार

    संवाद सूत्र, सरायगढ़ (सुपौल)। उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी तक बनने वाले 568 किलोमीटर लंबे सिक्सलेन गोरखपुर-सिलीगुड़ी एक्सप्रेस वे को केंद्र सरकार से मंजूरी मिलने के बाद कोसी इलाके के लोगों में उत्साह की लहर दौड़ गई है।

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    यह एक्सप्रेस वे भारत माला परियोजना के तहत स्वीकृत है और नेपाल-भारत सीमा के समानांतर बनाया जाएगा। इसके निर्माण पर लगभग 37,500 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है।

    जिलाधिकारी सावन कुमार ने निर्मली प्रखंड के डगमारा से लेकर राघोपुर प्रखंड के मोतीपुर तक पहुंचकर एक्सप्रेस वे से जुड़ी जमीन की स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान उनके साथ जिला भू-अर्जन पदाधिकारी, सरायगढ़ भपटियाही और राघोपुर के अंचलाधिकारी भी मौजूद थे।

    इस परियोजना के तहत कोसी नदी पर एक और महासेतु का निर्माण किया जाएगा। वर्तमान में कोसी पर नेशनल हाईवे 57 (अब एनएच 27) का महासेतु मौजूद है और बकौर भेजा में दूसरा महासेतु बन रहा है।

    अब डगमारा से बैसा गांव के बीच एक और महासेतु का निर्माण होगा, जिससे क्षेत्र का भूगोल पूरी तरह बदल जाएगा और भारत-नेपाल सीमा क्षेत्र देश के मुख्य मानचित्र से मजबूत तरीके से जुड़ जाएगा।

    भपटियाही पंचायत मुखिया विजय कुमार यादव ने कहा कि पहले नेशनल हाईवे 27 के बनने से इलाके में काफी बदलाव आया। रोजगार के अवसर बढ़े, परिवहन आसान हुआ और व्यापार को नई गति मिली।

    अब जब एक्सप्रेस वे बनेगा तो और ज्यादा रोजगार के अवसर मिलेंगे। युवा उद्यमी पप्पू कुमार ने कहा कि यह एक्सप्रेस वे इलाके का भूगोल बदलकर रख देगा। इसके बनने से देश की सुरक्षा के साथ-साथ विकास के नए अवसर पैदा होंगे।

    यह सरकार की बहुत बड़ी परियोजना है, जिसका लाभ आम जनता को मिलेगा। पूर्व मुखिया सुरेश प्रसाद सिंह ने अपनी राय रखते हुए कहा कि यदि महासेतु के पास से वर्तमान रोड महासेतु तक कोसी को चैनल बनाकर बांध दिया जाए तो हजारों एकड़ जमीन उपजाऊ हो जाएगी।

    यह एक्सप्रेसवे कोसी क्षेत्र के लिए वरदान साबित होगा। कोढ़ली गांव निवासी समाजसेवी मनोज यादव का कहना है कि एक्सप्रेस वे बनने से आमलोगों की जिंदगी में खुशहाली आएगी।

    यह परियोजना ऐतिहासिक है और इसके कारण कोसी का इलाका देश के मानचित्र पर और मजबूती से उभरेगा। भाजपा नेता विजय कुमार सिंह ने कहा कि गोरखपुर से सिलीगुड़ी तक का यह एक्सप्रेस वे विकास का नया मार्ग खोलेगा।

    कोसी नदी पर बनने वाले महासेतु से नदी पर नियंत्रण में भी मदद मिलेगी। यह पूरे उत्तर बिहार के लिए मील का पत्थर साबित होगा। जदयू के उपेंद्र शर्मा ने कहा कि यह परियोजना आमलोगों की जिंदगी में बड़ा बदलाव लाएगी।

    इससे सुरक्षा बढ़ेगी और क्षेत्र में खुशहाली आएगी। बिहार सरकार के ऊर्जा और योजना मंत्री विजेंद्र प्रसाद यादव इस सराहनीय कार्य के लिए धन्यवाद के पात्र हैं।