अनिल अंबानी के चमकेंगे सितारे? इलेक्ट्रिक कार बनाने की तैयारी में रिलायंस इन्फ्रा
अनिल अंबानी की रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर अब इलेक्ट्रिक कार मैन्युफैक्चरिंग में उतरने की तैयारी कर रही है। कंपनी इसके लिए जरूरी तैयारी भी कर रही है। उसने चीन की दिग्गज इलेक्ट्रिक कारमेकर बीवाईडी के पूर्व इंडिया हेड संजय गोपालकृष्णन को सलाहकार नियुक्त किया है। आइए जानते हैं कि क्या है अनिल अंबानी की पूरी तैयारी और क्या इससे सितारे दोबारा बुलंदियों पर पहुंच पाएंगे।
बिजनेस डेस्क, नई दिल्ली। अनिल अंबानी (Anil Ambani) के मालिकाना हक वाला रिलायंस ग्रुप काफी मुश्किल दौर से गुजर रहा है। उनके कई कारोबार अच्छा नहीं कर रहे और उनके खिलाफ सेबी ने भी कुछ एक्शन लिया है। हालांकि, अब अनिल अंबानी के भी अच्छे दिन आ सकते हैं। उनकी कंपनी रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर इलेक्ट्रिक कार और बैटरी मैन्युफैक्चरिंग में कदम रखने की योजना बना रही है।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर ने चीन की इलेक्ट्रिक कार निर्माता कंपनी बीवाईडी के पूर्व भारत प्रमुख संजय गोपालकृष्णन को सलाहकार नियुक्त किया है। उसने इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) मैन्युफैक्चरिंग प्लांट की लागत का अध्ययन कराने के लिए बाहरी सलाहकार भी नियुक्त किए हैं।
इस संयंत्र की शुरुआती क्षमता 2.5 लाख वाहन प्रति वर्ष होगी, जिसे कुछ वर्षों में बढ़ाकर 7.5 लाख किया जा सकता है। इसके अलावा कंपनी 10 गीगावाट घंटा क्षमता वाला बैटरी मैन्युफैक्चरिंग संयंत्र शुरू करने पर भी विचार कर रही है। इसकी क्षमता को एक दशक में बढ़ाकर 75 जीडब्ल्यूएच किया जा सकेगा।
मुकेश अंबानी भी बनाएंगे बैटरी
अनिल अंबानी के भाई और रिलायंस इंडस्ट्रीज के मालिक मुकेश अंबानी बैटरी मैन्युफैक्चरिंग के क्षेत्र में उतरने वाले हैं। भारी उद्योग मंत्रालय ने प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) स्कीम के तहत 10 गीगावाट-ऑवर (जीडब्ल्यूएच) क्षमता वाले एडवांस्ड केमेस्ट्री सेल (एसीसी) बैट्री मैन्युक्चरिंग के लिए मुकेश अंबानी की अगुआई वाले रिलायंस इंडस्ट्रीज को चुना है।मंत्रालय के मुताबिक, गुणवत्ता और लागत मैकेनिज्म के आधार पर यह चयन किया गया है। एसीसी एनर्जी को स्टोर करने का एडवांस टेक्नोलाजी है जिसके तहत इलेक्ट्रिक एनर्जी को इलेक्ट्रोकेमिकल एनर्जी के रूप में स्टोर किया जाता है और फिर जरूरत पड़ने पर उसे बिजली में बदला सकता है। इसका इस्तेमाल इलेक्ट्रिक वाहनों से लेकर पावर बैक जैसी जगहों पर किया जा सकता है।यह भी पढ़ें : टाटा के बाद अदाणी ग्रुप भी लगाएगा सेमीकंडक्टर प्लांट, इजरायल की मिलेगी मदद