सस्ते पेट्रोल और डीजल का सपना चकनाचूर! अब फ्यूल का दाम बढ़ने का खतरा
पिछले दिनों ग्लोबल इन्वेस्टमेंट फर्म CLSA और घरेलू रेटिंग एजेंसी इक्रा ने अलग-अलग रिपोर्ट में पेट्रोल और डीजल की कीमतें घटने का अनुमान लगाया था। इक्रा ने दावा किया था कि सरकारी तेल कंपनियों को पेट्रोल और डीजल पर तकरीबन 15 रुपये तक फायदा हो रहा है। हालांकि यह दावा तब किया गया था जब क्रूड ऑयल का भाव 70 डॉलर प्रति बैरल के आसपास था।
बिजनेस डेस्क, नई दिल्ली। पिछले कुछ समय से पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कटौती होने की अटकलें लग रही थीं। लेकिन, अब उपभोक्ताओं के इस हसीन सपने पर पानी फिरता दिख रहा है। दरअसल, इजरायल-ईरान संकट के चलते कच्चे तेल (Crude Oil) की सप्लाई का संकट गहराने लगा है। इससे क्रूड की कीमतों में उछाल आया है और निकट भविष्य पेट्रोल-डीजल सस्ता होने की उम्मीदें भी कम हो गई हैं।
पेट्रोल-डीजल सस्ता क्यों नहीं होगा?
पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय के सचिव पंकज जैन ने पिछले दिनों कहा था कि अगर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल की कीमतें लंबे वक्त तक कम रहती हैं, तो सरकारी ऑयल मार्केटिंग कंपनियां (ओएमसी) पेट्रोल और डीजल सस्ता करने पर विचार कर सकती हैं।
लेकिन, मध्य पूर्व में भू-राजनीतिक तनाव गहराने से क्रूड ऑयल के प्रोडक्शन और सप्लाई का संकट खड़ा होने की आशंका है। इसके चलते पिछले पांच दिनों में ब्रेंट क्रूड का रेट 8 फीसदी से अधिक उछलकर 77.62 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गया है।
अब पेट्रोल-डीजल का दाम बढ़ेगा?
इस सवाल का जवाब काफी हद तक मध्य पूर्व के भू-राजनीतिक तनाव के साथ कच्चे तेल के प्रोडक्शन और सप्लाई पर निर्भर करता है। अगर प्रोडक्शन या सप्लाई में कोई मसला आता है, तो क्रूड ऑयल के भाव में और तेजी आ सकती है। इसका असर पेट्रोल और डीजल की कीमतों में इजाफे के तौर पर देखने को मिल सकता है।हालांकि, पेट्रोल-डीजल की कीमतों में जल्द उछाल का खतरा नहीं हैं। घरेलू रेटिंग एजेंसी इक्रा (ICRA) ने पिछले दिनों अपनी एक रिपोर्ट में कहा था कि सरकारी तेल कंपनियों को पेट्रोल और डीजल पर तकरीबन 15 रुपये प्रति लीटर तक का मुनाफा हो रहा है। उस वक्त क्रूड 70 डॉलर प्रति बैरल के आसपास था। ऐसे में तेल कंपनियां क्रूड के दाम में अभी थोड़ी-बहुत और तेजी को झेल सकती हैं।
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