भारतीय रेलवे 15 फरवरी से कर रहा स्पेशल तेजस स्लीपर कोच की शुरुआत, अगले वित्त वर्ष में ऐसे 500 कोच के निर्माण का है लक्ष्य
तेजस टाइप कोच की सभी एंट्रेंस डोर ऑटोमेटिक सेंट्रलाइज्ड है जिसे ट्रेन का गार्ड कंट्रोल करेगा। यही नहीं रेलवे स्टेशनों से ट्रेन तब तक चलना शुरू नहीं करेगी जब तक सभी दरवाजे सही तरीके से बंद ना हो जाए। इनमें बायो वैक्यूम टॉयलेट लगाया गया है।
By Pawan JayaswalEdited By: Updated: Sun, 14 Feb 2021 01:13 PM (IST)
नई दिल्ली, पीटीआइ। भारतीय रेलवे 15 फरवरी से तेजस स्लीपर प्रकार की ट्रेनों की शुरुआत करने जा रही है। मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि इसकी शुरुआत अगरतला राजधानी स्पेशन ट्रेन से होने जा रही है। रेलवे ने अगरतला-आनंद विहार टर्मिनल स्पेशल राजधानी एक्सप्रेस में आधुनिक सुविधाओं वाले तेजस स्लीपर कोच लगाने का फैसला किया है। इससे राष्ट्रीय राजधानी के साथ बेहतर कनेक्टिविटी स्थापित होगी।
A new era of train travel experience with enhanced comfort is being rolled out with the introduction of Tejas Sleeper Type Trains.https://t.co/DzEEQIxqCI" rel="nofollow pic.twitter.com/w8cf7UKBbL
— Ministry of Railways (@RailMinIndia) February 12, 2021
भारतीय रेलवे ने एक बयान में कहा, 'स्मार्ट सुविधाओं वाले तेजस ट्रेन प्रकार के इन नए स्लीपर कोचों से यात्रियों को यात्रा का बेहतरीन होगा। तेजस सेवाओं को 15 फरवरी से शुरू करने की योजना है।' रेलवे ने कहा कि लंबी दूरी की यात्रा के लिए मॉडर्न तेजस स्लीपर टाइप ट्रेन की शुरूआत कर भारतीय रेलवे यात्रियों के यात्रा अनुभव में बड़ा बदलाव कर रहा है।
रेलवे ने बयान में आगे कहा, 'यह योजना बनाई गई है कि 500 तेजस प्रकार के स्लीपर कोच भारतीय रेल की उत्पादन इकाइयों इंटीग्रल कोच फैक्ट्री (ICF) और मॉडर्न कोच फैक्ट्री (MCF) में मौजूदा वित्त वर्ष में निर्मित किए जाएंगे, जिन्हें धीरे-धीरे भारतीय रेल नेटवर्क की प्रीमियम लंबी दूरी की ट्रेनों में लगाया जाएगा।'
Convenient Travelling for North-East Region:
Indian Railways to operationalise Agartala Rajdhani Special train with special Tejas type sleeper coaches from 15th February.
This will offer better connectivity & provide best in class travel experience. pic.twitter.com/CbPDfrlsJA
— Ministry of Railways (@RailMinIndia) February 12, 2021
तेजस टाइप कोच की सभी एंट्रेंस डोर ऑटोमेटिक सेंट्रलाइज्ड है, जिसे ट्रेन का गार्ड कंट्रोल करेगा। ये ट्रेन रेलवे स्टेशन से तब तक चलना शुरू नहीं करेगी, जब तक सभी दरवाजे सही तरीके से बंद ना हो जाए। इनमें बायो वैक्यूम टॉयलेट लगाया गया है। ये कोच एयर सस्पेंशन से लैश हैं। साथ ही यात्रियों को सूचना पहुंचाने के लिए सेंट्रलाइज्ड पैसेंजर इन्फॉर्मेशन कोच कंप्यूटिंग यूनिट सभी कोच में होगी।
इन तेजस टाइप कोचों में ऑटोमेटिक फायर अलार्म और डिटेक्शन सिस्टम लगाया गया है। पढ़ने के लिए प्रत्येक यात्री के लिए बर्थ रीडिंग लाइट सभी सीटों में लगायी गई है। वहीं, कोच में ऐसे CCTV कैमरे लगाए गए है, जिनकी पिक्चर क्वालिटी रात में भी काफी बेहतर है।