RBI ने Banks और NBFC पर लगाया 40 करोड़ का जुर्माना, जानिए क्या है वजह
RBI ने नियमों के उल्लंघन के आरोप में 2022-23 में बैंकों गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFC) और अन्य संस्थाओं पर 40.39 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। इसको लेकर वित्त राज्यमंत्री भागवत कराड ने सोमवार को लोकसभा में कहा कि सरकार चालू वित्त वर्ष में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के 5.9 प्रतिशत के राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को हासिल कर लेगी।
By AgencyEdited By: Rammohan MishraUpdated: Mon, 18 Dec 2023 08:25 PM (IST)
आईएएनएस, नई दिल्ली। नियमों के उल्लंघन के आरोप में आरबीआइ ने 2022-23 में बैंकों, गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFC) और अन्य संस्थाओं पर 40.39 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। वित्त राज्यमंत्री भागवत कराड ने कहा कि सहकारी बैंकों से संबंधित 176 मामले हैं, जिसमें 14.04 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया है।
निजी क्षेत्र के बैंकों पर 12.17 करोड़ रुपये, सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों (पीएसबी) पर 3.65 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया। विदेशी बैंकों पर 4.65 करोड़ रुपये और एनबीएफसी पर 4.39 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया। आइए, इसके पीछे वजह के बारे में जान लेते हैं।
राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को हासिल कर लेगी सरकार
वित्त राज्यमंत्री भागवत कराड ने सोमवार को लोकसभा में कहा कि सरकार चालू वित्त वर्ष में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के 5.9 प्रतिशत के राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को हासिल कर लेगी। उन्होंने कहा कि चालू वित्त वर्ष में अब तक सरकार को विभिन्न केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (सीपीएसई) में विनिवेश से लगभग 10,050 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त हुआ है।
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जब उनसे यह पूछा गया कि निजीकरण में देरी से चालू वित्त वर्ष में सरकार के राजकोषीय घाटे के लक्ष्य पर क्या प्रभाव पड़ेगा। इस पर उन्होंने कहा कि राजकोषीय घाटा कुल व्यय और कुल गैर ऋण प्राप्तियों जैसे कई कारकों पर निर्भर करता है।