अगले पांच साल में 90 प्रतिशत तक होगा खुदरा डिजिटल लेनदेन का योगदान: RBI bulletin
आरबीआई ने आज UPI से जुड़ी जानकारी देते हुए बताया कि अगले पांच साल में यूपीआई का खुदरा डिजिटल लेनदेन में 90 प्रतिशत के योगदान होने की उम्मीद है। आरबीआई ने एनपीसीआई के डेटा का जिक्र करते हुए बताया कि मई में यूपीआई लेनदेन का कुल मूल्य 14.3 ट्रिलियन था अप्रैल में 14.07 ट्रिलियन मूल्य के 8.89 बिलियन लेनदेन दर्ज किए गए।
By Gaurav KumarEdited By: Gaurav KumarUpdated: Fri, 23 Jun 2023 09:48 PM (IST)
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने आज यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) के उपर बड़ी जानकारी दी है। आरबीआई ने अपना बुलेटिन जारी करते हुए कहा कि अगले पांच साल में यूपीआई का, खुदरा डिजिटल लेनदेन में 90 प्रतिशत के योगदान होने की उम्मीद है।
मई में हुए 9 अरब ट्रांजेक्शन
नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) द्वारा हाल ही जारी आंकड़ों के अनुसार यूपीआई से पिछले महीने मई में रिकॉर्ड 9 अरब लेनदेन हुआ है।
एनपीसीआई के अनुसार, मई में यूपीआई लेनदेन का कुल मूल्य 14.3 ट्रिलियन था। वहीं अप्रैल में 14.07 ट्रिलियन मूल्य के 8.89 बिलियन लेनदेन दर्ज किए गए, मार्च में 14.05 ट्रिलियन मूल्य के 8.7 बिलियन लेनदेन दर्ज किए गए थे।
9.4 बिलियन ट्रांजेक्शन का हालिस किया माइलस्टोन
केंद्रीय बैंक ने कहा कि यूपीआई ने यूपीआई ऑटोपे फीचर के तहत सफल लेनदेन में साल-दर-साल 143 प्रतिशत की वृद्धि और नए अधिदेश पंजीकरण में साल-दर-साल 23 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 9.4 बिलियन लेनदेन का एक माइल स्टोन हासिल किया है। आरबीआई ने कहा कि भुगतान स्वीकृति बुनियादी ढांचे के तेजी से बढ़ने से भुगतान में वृद्धि हुई है।44 प्रतिशत बढ़ा QR कोड
आरबीआई ने बताया कि यूपीआई क्विक रिस्पांस (क्यूआर) कोड का प्रसार, साल-दर-साल 44 प्रतिशत और पॉइंट-ऑफ-सेल (पीओएस) उपकरणों का प्रसार, सालाना आधार पर 27 प्रतिशत बढ़ा, जिससे उपभोक्ताओं और व्यापारियों को लागत-प्रभावी सुविधाएं मिली है।इसके अलावा, पर्सन टू मर्चेंट (पी2एम) भुगतान को भी प्रमुखता मिली है, जिसमें यूपीआई के माध्यम से कुल लेनदेन की मात्रा का 57 प्रतिशत शामिल है।