Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

SEBI ने डेरिवेटिव में रिटेल ट्रेड पर अंकुश लागने की रिपोर्ट को किया खारिज, ऑनबोर्डिंग नियम को बनाया जाएगा सरल

SEBI की ओर से कहा गया है कि रिटेल ट्रेडर्स की डेरिवेटिव मार्केट में हिस्सेदारी कम करने को लेकर कोई विचार नहीं किया जा रहा है। साथ ही उस रिपोर्ट को खारिज किया गया है जिसमें कहा गया था कि सेबी बाजार में रिटेल ट्रेडर्स की भागीदारी को कम करने को लेकर विचार कर रहा है। (फोटो - जागरण फाइल)

By Abhinav ShalyaEdited By: Abhinav ShalyaUpdated: Sat, 29 Jul 2023 03:02 PM (IST)
Hero Image
सेबी द्वारा डेरिवेटिव मार्केट में रिटेल ट्रेड पर अंकुश लगाने की रिपोर्ट को खारिज कर दिया गया है।

नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। शेयर बाजार नियामक सेबी रिक्स के आधार पर ग्राहकों को ऑनबोर्ड करने के प्रोसेस को आसान बनाने की कोशिश कर रहा है। हालांकि, यह शुरुआती स्तर पर है। इससे एएमसी कंपनियों के लिए ग्राहकों को ऑनबोर्ड करना आसान हो जाएगा।

सेबी की ओर से कहा गया कि अभी रिक्स आधारित एप्रोज पर ग्राहकों को ऑनबोर्ड करने की प्रक्रिया को आसान बनाने का काम शुरुआती चरण में है। सेबी का उद्देश्य व्यापार को आसान बनाना है। इससे ब्रोकर्स के लिए अनुपालन आसान होने की संभावना जताई जा रही है। 

रिटेल ट्रेडर्स की भागीदारी कम करने की रिपोर्ट का किया खंडन

सेबी ने आगे कहा कि रिटेल ट्रेडर्स की डेरिवेटिव मार्केट में हिस्सेदारी कम करने को लेकर कोई विचार नहीं किया जा रहा है।

बता दें, हाल ही में एक रिपोर्ट सामने आई थी, जिसमें कहा गया था कि सेबी बाजार में रिटेल ट्रेडर्स की भागीदारी को कम करने को लेकर विचार कर रहा है। इस रिपोर्ट का सेबी की ओर से पूरी तरह से खंडन कर दिया गया है। 

सेबी द्वारा दिसंबर 2009 में निकाले गए सर्कुलर के मुताबिक, डेरिवेटिव सेगमेंट में ट्रेडिंग करने के आज्ञा देने से पहले स्टॉक ब्रोकर के पास ग्राहक की वित्तीय क्षमता से जुड़े दस्तावेज होने चाहिए।

रिक्स मैनेज करने पर हमारा फोकस

सेबी ने कहा कि हमारा फोकस रिस्क मैनेज करने पर है और साथ ही व्यापार को आसान बनाने पर है न ही कि ट्रेडिंग पर रोक लगाने के लिए कोई नया नियम लाने पर।

आगे कहा कि जिन प्रस्ताव के कारण रेगुलेटरी फ्रेमवर्क में कोई बदलाव आता है। सेबी का बोर्ड कोई भी निर्णय लेने से पहले जनता सहित सभी पक्षकारों के साथ बातचीत करता है।