वित्त मंत्री ने कहा- सबसे तेज गति से विकास करने वाला देश होगा भारत, बजट अगले 25 वर्षों का ब्लूप्रिंट
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का कहना है कि भारत को पूर्ण विकसित देश बनाने के लिए किए जाने वाले कार्यों का ब्लूप्रिंट बजट में दिया गया है। बजट में पिछले साल की नीतियों को जारी रखा गया है।
By Krishna Bihari SinghEdited By: Updated: Mon, 07 Feb 2022 09:40 AM (IST)
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि अगले 25 वर्षों में भारत को पूर्ण विकसित देश बनाना है और इस दिशा में होने वाले कार्यों का ब्लूप्रिंंट बजट में दिया गया है। उन्होंने कहा कि मौजूदा जरूरत को देखते हुए बजट में पिछले साल की नीतियों को जारी रखा गया है। विनिवेश और संपदा मुद्रीकरण को भी जारी रखा जाएगा। अब भारत के उदय के समय आ गया है।
भारतीय उद्योग के समक्ष बड़ा अवसर
अर्थव्यवस्था की रिकवरी को देखते हुए भारत बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सबसे तेज गति से विकास करने वाला देश बनने जा रहा है और अगले वित्त वर्ष में भी यह गति जारी रहेगी। वित्त मंत्री ने कहा कि अभी जो वैश्विक स्तर पर हो रहा है। उसे देखते हुए भारतीय उद्योग के समक्ष बड़ा अवसर है और उन्हें आगे आकर इस अवसर को भुनाने के जरूरत है।
अवसर की गाड़ी को छूटने नहीं देना चाहिए
निर्मला सीतारमण ने कहा कि वैश्विक मंदी के बाद के अवसर को हमने खो दिया। उस समय हमारे सामने बड़े अवसर थे, लेकिन कोशिश की कमी से हमने उस बड़े अवसर को खो दिया। उससे सीख लेते हुए अवसर की इस गाड़ी को छूटने नहीं देना चाहिए।
उद्योग को नुकसान नहीं होने देंगेऔद्योगिक संगठन फिक्की के साथ बजट पर संवाद के दौरान वित्त मंत्री ने उद्योग जगत को यह भी भरोसा दिया कि आगामी वित्त वर्ष में पूंजीगत खर्च के लिए 7.5 लाख करोड़ रुपये के लक्ष्य को हासिल कर लिया जाएगा। चालू वित्त वर्ष 2021-22 में पूंजीगत खर्च के लिए 5.54 लाख करोड़ रुपये का लक्ष्य रखा गया था।
पूंजीगत खर्च की लगातार होती रहेगी समीक्षासीतारमण ने कहा कि ओमिक्रोन के बावजूद इस साल 31 मार्च तक 5.51 लाख करोड़ रुपये खर्च कर लिए जाएंगे। पूंजीगत खर्च की लगातार समीक्षा की जाती है और आगे भी यह प्रक्रिया जारी रहेगी। केंद्र के साथ राज्य भी इंफ्रा परियोजनाओं पर खर्च कर सके, इसलिए राज्यों के लिए पूंजीगत खर्च के मद में एक लाख करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है।
उद्योग जगत को दिलाया भरोसावित्त मंत्री ने भारतीय उद्योग जगत को भरोसा दिलाया कि फेडरेल रेट के फैसले पर सरकार और आरबीआइ दोनों की नजर है और सरकार वैश्विक महंगाई दबाव पर भी नजर रखी हुई और हम उस वजह से उद्योग को नुकसान नहीं होने देंगे। वित्त मंत्री ने कहा कि रिन्युएबल एनर्जी, डिजिटल पेंमेंट, गेमिंग, ड्रोन जैसे कई ऐसे उभरते सेक्टर हैं जिनमें भारत के लिए वैश्विक नेतृत्व करने की संभावना है। बजट में भविष्य के हिसाब से मार्ग तैयार किया गया है।
विनिवेश में जल्दबाजी नहीं करना चाहतेसीतारमण ने कहा कि विनिवेश लक्ष्य में हम आगे बढ़ रहे हैं और इस साल का विनिवेश लक्ष्य वास्तविकता के अधिक करीब है। चालू वित्त वर्ष में सरकार ने 1.75 लाख करोड़ रुपये का विनिवेश लक्ष्य रखा था और अगले वित्त वर्ष में विनिवेश लक्ष्य 65,000 करोड़ रुपये का रखा गया है। उन्होंने कहा कि सरकार किसी बिक्री में जल्दीबाजी नहीं करना चाहती है क्योंकि उन्हें संसद से लेकर सीएजी तक को जवाब देना पड़ता है। इस काम में काफी सावधान रहने की जरूरत होती है।
मिडिल क्लास पर काफी बोल चुकी हूंउद्यमियों की तरफ से खपत में बढोतरी को लेकर बजट में मिडिल क्लास के बारे में पूछे जाने पर वित्त मंत्री ने कहा कि वह भी मिडिल क्लास से आती हैं और इस सवाल पर वह बजट से लेकर अब तक काफी बोल चुकी हैं।