Credit Rating है बहुत जरूरी, इसके कमजोर होने पर लोन लेने में आती है दिक्कत
Credit Rating बैंक से लोन लेते समय जिस तरह क्रेडिट स्कोर का अहम रोल होता है। ठीक उसी तरह क्रेडिट रेटिंग भी बहुत जरूरी होता है। अगर आपका क्रेडिट स्कोर और रेटिंग नीचे की ओर जाता है तो हमें लोन लेने में दिक्कत आती है। आइए जानते हैं कि क्रेडिट रेटिंग किस तरह काम करती है? उसके काम करने का प्रोसेस क्या है?
By Priyanka KumariEdited By: Priyanka KumariUpdated: Mon, 02 Oct 2023 09:30 PM (IST)
बिजनेस डेस्क, नई दिल्ली। जब भी हमें वित्तीय मदद लेनी होती है तो हम अपने दोस्तों, रिश्तेदारों के साथ बैंक के पास भी जाते हैं। बैंक से हम लोन लेते हैं तो बैंक हमारे वित्तीय जानकारी के मुताबिक ही हमें लोन लेते हैं। अगर बैंक के पास आपकी जरूरी जानकारी नहीं होती है तो बैंक आपको लोन नहीं देता है।
जब भी हमें कोई लोन मिलता है तो उसके कुछ नियम व शर्तें होती है। इन नियम व शर्तों का पालन नहीं करते हैं तो इसका असर हमारे क्रेडिट स्कोर पर पड़ता है। अगर हमारा क्रेडिट स्कोर अच्छा होता है तो हमें आराम से लोन मिल जाता है। वहीं, खराब क्रेडिट स्कोर की वजह से हमें लोन लेने में परेशानी का सामना करना पड़ता है।
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क्रेडिट रेटिंग से मिलने वाले लोन और उस लोन से जुड़े भुगतान की संभावनाएं प्रभावित होती है। यह रेटिंग व्यवसायों और सरकार द्वारा लागू होता है। यह रेटिंग 300 और 800 के बीच की होती है।
क्या है क्रेडिट रेटिंग
देश में कई तरह की क्रेडिट रेटिंग कंपनियां है। यह कंपनियां कोई स्पेशल बैंक के लिए काम नहीं करती है। क्रेडिट रेटिंग प्लेटफॉर्म सभी बैंकों के सहयोग से बना है। इस प्लेटफॉर्म पर ग्राहकों द्वारा लिए गए लोन और उसका रिपेमेंट की जानकारी होती है। यह एक तरह का डेटा होता है। इस डेटा की मदद से बैंक किसी भी ग्राहक के लेनदेन का डेटा आसानी से ले सकते हैं।
अगर यह प्लेटफॉर्म नहीं होगा तो बैंक को कोई भी डेटा लेने में परेशानी आ सकती है। ऐसे में यह प्लेटफॉर्म के जरिये बैंक कम समय में ग्राहक का डेटा ले सकते हैं।