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RBI Monetary Policy: आरबीआई का अनुमान, 2023-24 में 6.4 प्रतिशत रहेगी GDP ग्रोथ; मुद्रास्फीति 5.3 फीसद

Monetary Policy 2023-24 RBI ने नई मौद्रिक नीति का ऐलान कर दिया है। इसमें GDP ग्रोथ 6.4 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया है। वहीं मुद्रास्फीति रेपो दर एमएसएफ और एसडीएफ दरों की जानकारी भी दी गई है। इसकी पूरी जानकारी नीचे देखें। (जागरण ग्राफिक्स)

By Sonali SinghEdited By: Sonali SinghUpdated: Wed, 08 Feb 2023 11:20 AM (IST)
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RBI Monetary Policy 2023, Check Out GDP, Repo Rate
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। RBI की नई मौद्रिक नीति का ऐलान कर दिया गया है। रेपो रेट में 25 आधार अंकों की बढ़ोतरी के साथ इस बार और भी कई घोषणाएं की गई हैं। भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास 6 फरवरी से तीन दिवसीय केंद्रीय बैंक की मौद्रिक नीति समिति के द्वारा लिए गए निर्णयों की घोषणा कर दी है।  चलिए जानते हैं कि नई मौद्रिक नीति में किन चीजों का ऐलान हुआ है।

आरबीआई गवर्नर ने कहा कि वैश्विक आर्थिक परिदृश्य उतना गंभीर नहीं दिखता, जितना कुछ महीने पहले था। प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में वृद्धि की संभावना में सुधार हुआ है, जबकि मुद्रास्फीति नीचे की ओर है।

रेपो दर में बढ़ोतरी

8 फरवरी, 2023 को हुए मौद्रिक नीति समिति के फैसलों में रेपो दर को बढ़ा दिया गया है। इसमें 25 बीपीएस की वृद्धि की गई है। आरबीआई गवर्नर के मुताबिक, इस समय दरों में बढ़ोतरी उचित है,  इससे मौद्रिक नीति चुस्त बनी रहेगी।

खुदरा मुद्रास्फीति 2023-24

वित्त वर्ष 2023-24 के लिए खुदरा मुद्रास्फीति 5.3 प्रतिशत मानी गई है। वहीं, तिमाही आंकड़े कुछ इस तरह हैं-

पहली तिमाही में खुदरा मुद्रास्फीति- 5.0 प्रतिशत

दूसरी तिमाही में खुदरा मुद्रास्फीति- 5.4 प्रतिशत

तीसरी तिमाही में खुदरा मुद्रास्फीति- 5.4 प्रतिशत

चौथी तिमाही में खुदरा मुद्रास्फीति- 5.6 प्रतिशत

2023-24 में GDP ग्रोथ अनुमान

GDP ग्रोथ की बात करें तो इस वित्त वर्ष में यह ग्रोथ रेट 6.4 प्रतिशत आंकी गई है। वहीं, तिमाही में यह कुछ इस तरह से होने के अनुमान हैं।

पहली तिमाही में GDP ग्रोथ - 7.8 प्रतिशत

दूसरी तिमाही में GDP ग्रोथ - 6.2 प्रतिशत

तीसरी तिमाही में GDP ग्रोथ - 6.0 प्रतिशत

चौथी तिमाही में GDP ग्रोथ - 5.8 प्रतिशत

एमएसएफ, एसडीएफ दरें बढ़ी

एसडीएफ (स्थायी जमा सुविधा) और MSF (मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी) की दर को बढ़ दिया गया है। स्थायी जमा सुविधा 6% से 6.25% तक समायोजित की गई हैं। वहीं, MSF (मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी) की दरें 25 बीपीएस से बढ़कर 6.75% हो गई हैं।

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