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Crypto Currency: क्रिप्टो करेंसी के नाम पर ठगी, 300 दिनों में रकम तीन गुना करने का देते थे झांसा; तीन गिरफ्तार

देश भर में क्रिप्टो करेंसी कंपनी हैस-पे (लंदन बेसड) और यूनिटी बाईट (क्रिप्टो करेंसी) के नाम पर 50 से 60 लोगों से ठगी करने वाले दो आरोपितों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुरानी बस्ती थाने में 13 लाख 13 हजार और आरंग 14 करोड़ की ठगी की थी।

By Jagran NewsEdited By: Sonu GuptaUpdated: Fri, 10 Feb 2023 07:14 PM (IST)
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क्रिप्टो करेंसी के नाम पर ठगी, 300 दिनों में रकम तीन गुना करने का देते थे झांसा।
रायपुर, जेएनएन। देश भर में क्रिप्टो करेंसी कंपनी हैस-पे (लंदन बेसड) और यूनिटी बाईट (क्रिप्टो करेंसी) के नाम पर 50 से 60 लोगों से ठगी करने वाले दो आरोपितों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। पुरानी बस्ती थाने में 13 लाख 13 हजार और आरंग 14 करोड़ की ठगी की थी। गिरोह के कंपनी के सदस्य ईमरान बाशा एम. को कोयम्बटूर तमिलनाडू गिरफ्तार गया। वहीं आरंग मामले में प्रकाश रेड्डी निवासी भूनेश्वरी नगर थाना अमरूधहाल्ली जिला बेंगलुरु नार्थ कर्नाटक और एस. भूपति निवासी अईय्यन नगर थाना कन्नाकुरूच जिला सेलम तमिलनाडु से गिरफ्तार किया गया।

तीन सदस्यों को किया गया गिरफ्तार

मामले का खुलासा करते हुए एसएसपी प्रशांत अग्रवाल ने बताया कि गिरोह के तीन सदस्यों को पकड़ा गया है। अन्य आरोपितों की तलाशी की जा रही है। पकड़े गए आरोपितों को रिमांड में लिया जाएगा। उनके पूछताछ के बाद उनके बैंक खाते सहित अन्य जानकारी जुटाई जाएगी। आरोपित 300 दिनों में रकम तीन गुना करने का प्रलोभन देकर लोगों को झांसे में लेकर अपना शिकार बनाते थे। लोगों को अपने झांसे में लेने के लिए अलग-अलग राज्यों में कार्यशाला भी करते थे। ये आरोपित रायपुर में भी आ चुके थे।

ग्रामीणों को बनाया था निशाना

प्रार्थी संतोष कुमार साहू ने थाना आरंग में रिपोर्ट दर्ज करवाई थी कि उसके परिचित एवं साथियों द्वारा यूनिटी बाइट क्रिप्टो करेंसी कंपनी के संबंध में जानकारी दी गई। इस कंपनी से संबंधित जानकारी के लिए कंपनी के मैनेजर बेंगलुरु निवासी प्रकाश रेड्डी द्वारा रायपुर के लालबाग होटल में कार्यशाला आयोजित की। इसमें कंपनी में निवेश करने पर निवेश की रकम 300 दिनों में तीन गुना करने का प्रलोभन दिया गया था। इस सेमीनार में शामिल कंपनी के एंजेंट एंड मैनेजमेंट टीम के प्रकाश रेड्डीए एस. भूपति मुत्थू कुमार के द्वारा कंपनी के प्लान के बारे में बताया गया। प्रार्थी द्वारा झांसे में आकर 14 लाख रुपये ट्रांसफर कर दिए। आरोपित ग्रामीण क्षेत्रों में ज्यादातर कार्यशाला आयोजित करते हैं।

प्रोजेक्टर पर दिखाते हैं प्रेजेंटेशन

ठगों ने शहर के अलग-अलग होटल में वर्कशाप की। उसमें प्रोजेक्टर पर प्रेजेंटेशन दिखाया गया। क्रिप्टो में निवेश पर कैसे घर बैठा पैसा कमा सकते हैं। ठगों ने झांसा दिया कि इसमें पैसा निवेश करने पर डूबेगा नहीं, क्योंकि एप के माध्यम से पैसा उनके पास ही रहेगा। कभी भी उसे निकाल सकते हैं। मार्केट दर पर ही पैसा मिलेगा।

चीन में बैठे ठगों के पास पहुंचा पैसा

गिरोह चेन मार्केटिंग पर काम करता है। इसमें लोगों को झांसा दिया गया था कि उन्हें दोगुना पैसा मिलेगा। दो व्यक्ति लाने पर हर माह कमीशन दिया जाएगा। इसलिए लोग इसमें जुड़ते है। ज्यादातर ग्रामीण क्षेत्र के लोगों ने इसमें निवेश किया है, लेकिन इसमें किसी को पैसा नहीं मिल पाया है, क्योंकि जिस एप में पैसा जमा किया गया वह चीन का है। पैसा चीन में बैठे ठगों के पास पहुंच रहा है।

जाने क्रिप्टो करेंसी क्या है, ठगी का शिकार होने से बचें

क्रिप्टो करेंसी के नाम से ठगी की घटनाएं बढ़ी है इसके बारे में जानना जरूरी है। इतिहास में वस्तु विनिमय प्रणानली का प्रचलन था, मुद्रा अस्तित्व में आया, फिर पेपर के नोट आए, बाद में बैंकिंग सिस्टम ने डिजिटल कार्ड बनाए और डिजिटिजेसन के इस दौर में डिजिटल करेंसी का चलन है। क्रिप्टो करेंसी भी उनमें से एक है।

क्या है क्रिप्टो करेंसी

क्रिप्टो करेंसी एक प्रकार की वर्चुअल करेंसी है, जिसे आनलाइन वेलेट्स में रखा जाता है। इसका करेंसी के ही जैसे निर्धारित मौद्रिक मूल्य होता है। क्रिप्टो का सामान्य अर्थ छुपा हुआ होता है अर्थात इसके लेनदेन बही खाते की जानकारी पूरी तरह सीक्रेट होती है, जो एक एक से अधिक कंप्यूटर प्रणाली वर्चुअल वर्ल्ड में सुरक्षित होती है। कुछ लोगों की धारणा थी की जब पैसा हमारा है तो उस पर कंट्रोल हमारा हो, हमारे पास कितने पैसे है उसकी जानकारी सरकार या बैंक को क्यों हो, इसी कांसेप्ट के आधार पर क्रिप्टो करेंसी अस्तित्व में आया है। इसका हिसाब किताब एक से अधिक कंप्यूटर में रखा जाता है, जिससे की कोई एक व्यक्ति गड़बड़ न कर सके, इसे पीयर टू पीयर अर्थात पर्सन टू पर्सन नेटवर्क कहते हैं। जब आप लेन देन करते है तो इसकी जानकारी किसी एक कंप्यूटर में न होकर एक से अधिक कंप्यूटर में डेटा सुरक्षित हो जाती है। यह ब्लाक चैन टेक्नोलाजी पर आधारित होती है। इसमें किसी बैंक या सरकार का कंट्रोल नहीं होता है। जैसे- बिटकाइन, रीपल, इथरेम, डाजकोइन।

ठगी कैसे हो रही है

क्रिप्टो करेंसी की कीमत में लगातार इजाफा हो रहा है। निवेशकों में क्रेज उतना ही है, जिसके चलते क्रिप्टो करेंसी में इन्वेस्टमेंट के नाम से ठगी का गिरोह सक्रिय हो रहा है। निर्धारित समय अवधि में रकम दुगुना तिगुना करने का लालच और पैसा नहीं डूबने का झांसा देकर ये गिरोह आम जन को ठगी का शिकार बना रहे।

सुरक्षित तरीके से करें निवेश

किसी भी क्रिप्टो करेंसी में निवेश करने से पहले इसे अच्छी तरह से समझ लें, इसके बारे में अगर नहीं जानते तो विशेषज्ञों की राय लें, क्रिप्टो से जुड़ी किसी वेबसाइट अथवा एप्लीकेशन की सत्यता प्रमाणिकता की जांच कर लें, ध्यान रहे यह किसी बैंकिंग सिस्टम या गवर्मेंट के कंट्रोल मे नहीं है। इसमें किसी भी प्रकार की जोखिम की जवाबदेही सिर्फ आपकी होगी।

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