IPL: 'गौतम गंभीर से नहीं लड़ता तो मेरा बैंक बैलेंस बढ़ चुका होता', KKR के पूर्व खिलाड़ी ने किया हैरानीभरा खुलासा
भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर ने खुलासा किया है कि एक गलतफहमी की वजह से उन्हें अपना आईपीएल अनुबंध गंवाना पड़ गया था। पूर्व क्रिकेट ने केकेआर के एक दबे हुए किस्से को उजागर किया जिसमें बताया कि ड्रेसिंग रूम में तत्कालीन कप्तान गौतम गंभीर के साथ उनका विवाद हुआ था। पूर्व क्रिकेटर ने माना कि अगर झगड़ा नहीं होता तो उन्हें काफी फायदा हो सकता था।
मनोज तिवारी का बड़ा खुलासा
मनोज तिवारी ने हाल ही में पेशेवर क्रिकेट से संन्यास लिया। उन्होंने कोलकाता के ईडन गार्डन्स पर अपना आखिरी रणजी ट्रॉफी मैच खेला। 38 साल के मनोज तिवारी ने आनंदबाजार पत्रिका से बातचीत में खुलासा किया कि गौतम गंभीर के साथ उनका झगड़ा हो गया था, जो कभी सुर्खियों में नहीं आया। पता हो कि आगामी सीजन में गौतम गंभीर की बतौर मेंटर केकेआर में वापसी हुई है।मनोज तिवारी ने क्या कहा
केकेआर में अपने समय के दौरान ड्रेसिंग रूम में गौतम गंभीर के साथ मेरी बड़ी लड़ाई हुई थी। यह कभी प्रकाश में नहीं आया। केकेआर 2012 में चैंपियन बना। उस समय मैंने चौका जड़कर टीम को जीत दिलाई थी। मुझे केकेआर के लिए एक और सीजन खेलने का मौका मिला।
अगर मैंने गंभीर से 2013 सीजन में झगड़ा नहीं किया होता तो शायद अगले दो-तीन साल फ्रेंचाइजी के लिए खेलता। इसके अलावा मेरे अनुबंध के मुताबिक जितनी रकम बढ़नी थी, वो बैंक बैलेंस उतना मजबूत नहीं हुआ। मगर मैंने इस बारे में कभी सोचा नहीं।
दिल्ली डेयरडेविल्स ने दिया झटका
दिल्ली से गंवाया अनुबंध
गैरी कर्स्टन कोच थे जब मैं दिल्ली डेयरडेविल्स के लिए खेल रहा था। मैंने अपनी आंखों से देखा कि प्लेइंग 11 शुरुआती मैचों में अच्छा नहीं कर रही थी। टीम संयोजन सही नहीं था। योग्य क्रिकेटर्स को खेलने का मौका नहीं मिला। कई खिलाड़ी चोटिल होने के कारण बाहर थे। नतीजे अच्छे आ रहे थे।
बता दें कि मनोज तिवारी ने अपने करियर के दौरान 96 आईपीएल मैच खेले। उन्होंने 2018 में अपना आखिरी आईपीएल मैच खेला था। तिवारी ने सात अर्धशतकों की मदद से 1686 रन बनाए।यह भी पढ़ें: MS Dhoni की कप्तानी में खेलने वाले प्रतिभाशाली क्रिकेटर ने किया संन्यास का एलान, करियर में रह गया बस एक मलालमैं सीधे गया और कहा, अगर मुझे प्लेइंग 11 में नहीं रख सकते तो रिलीज कर दीजिए। मेरा तब अनुबंध 2.8 करोड़ रुपये का था। मुझे कभी नहीं लगा था कि अगर ऐसा कहूंगा तो मुझे गलत समझेंगे और हटा देंगे। मैंने कभी इस नुकसान के बारे में सोचा नहीं था।