Move to Jagran APP

लड़कों के साथ क्रिकेट खेलते खेलते अपूर्वी बनी बिहार महिला अंडर 19 की कप्तान

अपूर्वा आज जिले ही नहीं, बिहार की अपने जैसी सभी लड़कियों के लिए रोल मॉडल हैं।

By Lakshya SharmaEdited By: Updated: Tue, 27 Nov 2018 06:15 PM (IST)
Hero Image
लड़कों के साथ क्रिकेट खेलते खेलते अपूर्वी बनी बिहार महिला अंडर 19 की कप्तान
पूर्णिया, दीपक शरण। बचपन में गली के लड़कों संग क्रिकेट खेलने वाली अपूर्वा आज बिहार अंडर-19 महिला क्रिकेट टीम की कप्तान बन गई है। लड़कों के साथ क्रिकेट खेलने पर बहुत टोका-टोकी होती, ताने पड़ते। लेकिन अपूर्वा को तो बड़ा क्रिकेटर बनना था। बन गई। इसी साल अक्टूबर में उसने कप्तान का पदभार संभाला है। अपूर्वा बताती है, मुझे बचपन से ही क्रिकेट खेलना पसंद था। 

गली में मुहल्ले के लड़के क्रिकेट खेलते तो उनके साथ मैं भी डट जाती। शुरू में लोग टोकते, लेकिन मेरी लगन को देखकर मुझे इजाजत मिल ही जाती। फिर धीरे-धीरे मैदान पर भी लड़कों की टीम का हिस्सा बनने लगी। इसे देखकर मुहल्ले के लोग ताने मारते थे। लेकिन माता-पिता ने प्रोत्साहित किया। जिसका नतीजा है कि आज इस मुकाम तक पहुंचने में सफल रही हूं.। 

अपूर्वा आज जिले ही नहीं, बिहार की अपने जैसी सभी लड़कियों के लिए रोल मॉडल हैं। 2017 के अक्टूबर-नवंबर में महिला अंडर 19 क्रिकेट प्रतियोगिता, नॉर्थ-ईस्ट जोन में बिहार को चैंपियन बनाने में पूर्णिया की अपूर्वा ने शानदार योगदान दिया था। महिला अंडर-19 नेशनल क्रिकेट एकेडमी में बिहार की दो खिलाड़ी चयनित हुई थीं, इनमें अपूर्वा भी थी। अपूर्वा की देखादेखी जिले में क्रिकेट खेलने वाली लड़कियों की संख्या में अब तेजी से बढ़ोत्तरी हो रही है।

पूर्णिया स्थित विवेकानंद कॉलोनी निवासी मनोज कुमार की बिटिया अपूर्वा ऑलराउंडर हैं। उनकी नियमित तेज गेंदबाजी और बेहतर क्षेत्ररक्षण की बदौलत टीम भी बेहतर प्रदर्शन करती है। अपूर्वा एक साल से पूर्णिया जिला कोचिंग कैंप में प्रशिक्षण हासिल कर रही थीं। खेल के प्रति उसके जुनून और समर्पण को देखते हुए चयन बिहार क्रिकेट एसोसिएशन (बीसीए) के ट्रायल कैंप में हो गया। यहीं से वह अंडर-19 बिहार महिला क्रिकेट टीम में चयनित हुई। अपूर्वा इसे अपने जीवन का टर्निंग प्वाइंट मानती हैं। 

शतक बनाने वाली वह अपने जिले की पहली महिला बल्लेबाज हैं। नौ नवंबर को खेले गए महिला अंडर-19 क्रिकेट (नार्थ ईस्ट और बिहार) के आखिरी लीग मैच में सिक्किम को धूल चटा अपूर्वा की टीम ने ग्रुप में अपराजेय रहते हुए 20 अंकों के साथ सुपर लीग में जगह बनाई। इस मैच में भी अपूर्वा ने शानदार बल्लेबाजी कर 99 रन की बेहतरीन पारी खेली। अपूर्वा के पिता का अपना व्यवसाय है। मां सीमा देवी गृहिणी हैं। दोनों अपनी बिटिया को भरपूर प्रोत्साहन देते आए हैं। 

बावजूद इसके, इस मुकाम तक पहुंचने के लिए अपूर्वा को काफी संघर्ष करना पड़ा। दरअसल, जिले में कोई महिला क्रिकेट लीग आयोजित नहीं होती थी। इस कारण कोचिंग कैंप ही एकमात्र सहारा था। अपूर्वा का सपना भारतीय क्रिकेट टीम में जगह बनाना है। उसे उम्मीद है कि इसमें एक दिन जरूर कामयाब होगी।

क्रिकेट की खबरों के लिए यहां क्लिक करें

अन्य खेलों की खबरों के लिए यहां क्लिक करें