Bishan Singh Bedi से थर-थर कांपते थे Virat Kohli, अपनी जवानी का किस्सा किया था शेयर
बिशन सिंह बेदी का 77 की उम्र में निधन हो गया। बिशन सिंह बेदी लंबे समय से बीमार चल रहे थे। बिशन सिंह बेदी ने क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद कोचिंग में भी लंबी पारी खेली। बिशन सिंह बेदी ने विराट कोहली को भी कोचिंग दी है। विराट कोहली ने एक अवॉर्ड फंक्शन में बताया था कि अपनी युवा उम्र में वो बिशन सिंह बेदी से डरते थे।
नई दिल्ली, स्पोर्ट्स डेस्क। भारत के महान स्पिनर बिशन सिंह बेदी का सोमवार को निधन हो गया। 77 साल के बिशन सिंह बेदी लंबे समय से बीमारी से लड़ रहे थे। भारतीय क्रिकेट के सर्वकालिक महान खिलाड़ियों में से एक बिशन सिंह बेदी के निधन से क्रिकेट जगत शोक में डूब गया है।
बिशन सिंह बेदी ने बतौर क्रिकेटर बुलंदियों को छुआ और भारतीय क्रिकेट को दुनिया में अलग पहचान दिलाई। बेदी को भारतीय स्पिन गेंदबाजी में क्रांति लाने का श्रेय भी दिया जाता है। इसमें उन्हें इरापल्ली प्रसन्ना, बीएस चंद्रशेखर और एस वेंकटराघवन का भी बखूबी साथ मिला।
बिशन सिंह बेदी अपनी पर्सनल और कप्तानी के हैरतभरे फैसलों के कारण भी चर्चा का केंद्र बने रहे। बाएं हाथ के स्पिनर के बारे में कहा जाता था कि वो अपने खिलाड़ियों का भरपूर ख्याल रखते थे और इसी के चलते उन्होंने कई हैरानी भरे फैसले लेकर क्रिकेट जगत को सकते में डाला।
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बिशन सिंह बेदी कोचिंग में भी सफल
बिशन सिंह बेदी ने अपना घरेलू क्रिकेट दिल्ली से खेला। उन्होंने अपनी कप्तानी में दिल्ली को दो बार रणजी ट्रॉफी चैंपियन बनाया। बिशन सिंह बेदी ने क्रिकेट के बाद कोचिंग में भी अपनी सेवाएं दी। उन्होंने दिल्ली रणजी टीम को प्रशिक्षण दिया। भारतीय टीम के स्टार बल्लेबाज विराट कोहली जब युवा थे, तब बिशन सिंह बेदी से थर-थर कांपते थे।
कोहली ने क्या कहा
विराट कोहली ने एक अवॉर्ड फंक्शन में कहा था, ''अंडर-15, अंडर-17, अंडर-19 क्रिकेट के समय में हम बेदी सर से दूर भागते थे क्योंकि हमें तब फिटनेस की अहमियत नहीं पता थी। तब बेदी सर हमें फिटनेस पर काफी ध्यान देने के लिए कहते थे। मेरी जिंदगी अब जो है, वो ऐसी चीज है, जिसके बारे में बेदी सर जमाने से बताते आ रहे हैं। यही वजह है कि बेदी सर से प्रशिक्षित कई क्रिकेटर्स इतना सफल रहे।''
भारतीय टीम को भी दी कोचिंग
बिशन सिंह बेदी ने 1990 के दशक में भारतीय टीम के कोच की भूमिका भी निभाई। बेदी भारतीय टीम के पहले कोच थे। इससे पहले विदेशी दौरे पर जाने वाली भारतीय टीम के मैनेजर पद पर नियुक्ति होती थी। बेदी की कोचिंग में महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर भी निखरे हैं। महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर कह चुके हैं कि बिशन सिंह बेदी उन्हें अपने बेटे की तरह मानते थे।
ऐसा रहा बेदी का क्रिकेट करियर
बिशन सिंह बेदी का अंतरराष्ट्रीय करियर शानदार रहा है। बाएं हाथ के स्पिनर ने 22 इंटनरेशनल मैचों में भारतीय टीम की कप्तानी की। उनका इंटरनेशनल करियर 12 साल का रहा। बेदी ने अपने इंटरनेशनल करियर की शुरुआत 1967 में की थी और उन्होंने आखिरी मैच 1979 में खेला। भारत के दिग्गज स्पिनर ने अपने टेस्ट करियर के दौरान कुल 266 विकेट झटके। वहीं, उन्होंने भारत की ओर से कुल 10 वनडे मैच भी खेले, जिसमें उन्होंने 7 विकेट अपने नाम किए।