वन वर्ल्ड वन फैमिली कप में स्टार खिलाड़ी लेंगे हिस्सा, सुनील गावस्कर और मधुसूदन साई ने बताई चैरिटी मैच की खास बातें
क्रिकेट फैन्स को एक बार फिर सचिन तेंदुलकर और युवराज सिंह मैदान पर खेलते हुए दिखाई देंगे। कर्नाटक में 18 जनवरी गुरुवार को मुद्देनहल्ली के सत्य साई ग्राम में आयोजित होने वाले वन वर्ल्ड वन फैमिली कप में दोनों स्टार खिलाड़ी हिस्सा लेंगे। इसमें विदेशी खिलाड़ी भी हिस्सा लेंगे। यह एक फ्रेंडली मैच है। इसका समाज के कल्याण में भूमिका निभाना है।
स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। क्रिकेट फैन्स को एक बार फिर सचिन तेंदुलकर और युवराज सिंह मैदान पर खेलते हुए दिखाई देंगे। कर्नाटक में 18 जनवरी, गुरुवार को मुद्देनहल्ली के सत्य साई ग्राम में आयोजित होने वाले 'वन वर्ल्ड वन फैमिली कप' में दोनों स्टार खिलाड़ी हिस्सा लेंगे। एक टीम का नेतृत्व सचिन तेंदुलकर करेंगे तो वहीं दूसरी टीम का नेतृत्व युवराज सिंह करने वाले हैं। यह एक फ्रेंडली मैच होगा।
मैच से पूर्व मधुसूदन साई वैश्विक लोकोपकारी सेवा अभियान से जुड़े भारत के दिग्गज क्रिकेटर सुनील गावस्कर और ट्रस्ट के अध्यक्ष मधुसूदन साई से जागरण ऑनलाइन के खेल संवाददाता उमेश कुमार ने बातचीत की। पेश है दोनों से बातचीत के प्रमुख अंश।
सुनील गावस्कर से बातचीत
मधुसूदन साई लोकोपकारी सेवा अभियान द्वारा शुरु की गई इस पहल से क्रिकेट जगत को कितना फायदा मिलेगा?
भारत में अब क्रिकेट, खेल की सरहदों से आगे बढ़ गया है। इसकी लोकप्रियता लोगों में आत्मविश्वास की वृद्धि करती है। इस पहल से क्रिकेट जगत के लोगों में दायित्वबोध की और भी वृद्धि होगी। इस अभियान का हिस्सा बनने से क्रिकेट जगत को एक नई पहचान भी मिलेगी। क्रिकेट इस समाज का ही अंग है। सामाजिक सरोकारों से जुड़कर तथा समाज के हित में कुछ योगदान करके जो आत्म संतुष्टि मिलती है, उसका अपना महत्व है तथा यह क्रिकेट और समाज दोनों के लिए हितकारी है। क्रिकेट समूह भावना, शारीरिक सक्रियता और अनुशासन को बढ़ावा देता है। सामाजिक तथा शैक्षिक जीवन में इनके समावेश से व्यक्ति के संपूर्ण विकास का मार्ग खुल जाता है। औद्योगिक घरानों के इस मुहिम से जुड़ने से शोषितों और वंचितों के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य और स्थाई विकास के अनेक नवीन अवसर सृजित किए जा सकते हैं।इस आयोजन से जुड़कर कैसा महसूस हो रहा है?
- क्रिकेट की दुनिया केवल मैदान तक सीमित नहीं है। क्रिकेट जगत सदैव से सामाजिक कार्यों के प्रति अपना उत्तरदायित्व निभाता आया है। निश्चित रूप से यह जनकल्याण और जनसरोकारों से जुड़ने का एक और अवसर है। यह आयोजन उन मूल्यों से जोड़ता है, जिन्हें वसुधैव कुटुंबकम के रूप में परिभाषित किया गया है। यह एक ऐसा अवसर उपलब्ध करा रहा है, जिससे मैदान की सीमाओं के बाहर भी एक बेहतर दुनिया बनाने में सहयोग करने की इच्छाशक्ति दोहरा रहे हैं।
चैरिटी के लिए समय-समय पर क्रिकेट जगत अपना योगदान देता रहा है। इस आयोजन से जुड़ने का संयोग कैसे बना?
- इस स्टेडियम के उद्घाटन का खेल से इतर भी महत्व है। यह सामाजिक उत्थान के प्रति प्रतिबद्धता को व्यक्त करता है। ऐसे आयोजनों के माध्यम से प्रेम, करुणा और सेवा की भावना में वृद्धि होती है और अभावग्रस्तों को बेहतर जीवन के अवसर प्रदान किए जा सकते हैं। खिलाड़ियों का सहयोग तथा भागीदारी हृदय स्पर्शी है। क्रिकेट जगत निःस्वार्थ सेवा के प्रति अपनी सामूहिक भागीदारी के महत्व को समझता है। इस आयोजन से जुड़ना व इसका अंग होना रोमांचकारी है। इससे सकारात्मक परिवर्तन का अवसर मिलता है।मधुसूदन साई से बातचीत
वसुधैव कुटुंबकम् के लक्ष्य को हासिल करने में अध्यात्म और खेल किस प्रकार से एक दूसरे के पूरक बनेंगे?
- वसुधैव कुटुंबकम् एक ऐसी अवधारणा है जो पूरे विश्व को एक परिवार के रूप में देखती है। इस क्रिकेट मैच का आयोजन हमारे उस मिशन का एक हिस्सा है जिसमें हम शोषितों, वंचितों तथा समाज के अभावग्रस्त वर्गों के उत्थान के लिए कार्य करते हैं। हम वसुधैव कुटुंबकम् की इसी अवधारणा को लेकर आगे बढ़ रहे हैं। यह स्टेडियम इस सत्य का साक्षी है कि हम उन वंचितों, शोषितों के उत्थान को लेकर न केवल सजग हैं, अपितु इसके लिए तत्पर भी हैं।