IND vs NZ: न्यूजीलैंड की भारत पर ऐतिहासिक जीत, खत्म किया 36 साल का सूखा
भारतीय क्रिकेट टीम का विजयी अभियान बेंगलुरू के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में थम गया। न्यूजीलैंड ने भारत को पहले टेस्ट मैच में हरा दिया। इसी के साथ उसने तीन मैचों की टेस्ट सीरीज में 1-0 की बढ़त ले ली है। न्यूजीलैंड को जीत के लिए 107 रनों की जरूरत थी। मेहमान टीम ने पांचवें दिन दूसरे सेशन मे ये लक्ष्य हासिल कर लिया।
स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। न्यूजीलैंड ने बेंगलुरु में खेल गए बारिश से बाधित पहले टेस्ट मैच में भारत को -- विकेट से हरा दिया। इसी के साथ न्यूजीलैंड ने तीन मैचों की सीरीज में 1-0 की बढ़त ले ली है। पहला दिन बारिश के कारण धुल जाने के बाद न्यूजीलैंड ने इस मैच में दमदार खेल दिखाया। मैच के पांचवें और आखिरी दिन रविवार को कीवी टीम को जीत के लिए 107 रनों की जरूरत थी जो उसने आठ विकेट खोकर बना लिए।
न्यूजीलैंड ने भारत को पहली पारी में 46 रनों पर ढेर कर दिया था। इसके बाद रचिन रवींद्र के 134 और डेवन कॉनवे के 91 रनों की मदद से न्यूजीलैंड ने अपनी पहली पारी में 402 रन बनाए। भारत ने दूसरी पारी में सरफराज खान (150) के पहले टेस्ट शतक और ऋषभ पंत के 99 रनों के बूते 462 रन बना न्यूजीलैंड को आसान टारगेट दिया था।यह भी पढ़ें- बेंगलुरू टेस्ट के बीच बढ़ी गंभीर और रोहित की सिरदर्दी, मुंबई के बल्लेबाज ने ठोका केएल राहुल की जगह लेने का दावा!
खत्म किया 36 साल का सूखा
मैच के चौथे दिन खराब रोशनी के कारण खेल जल्दी खत्म कर दिया गया। पांचवें दिन भी खेल देरी से शुरू हुआ। दिन की पहली ही गेंद पर जसप्रीत बुमराह ने कीवी टीम के कप्तान टॉम लैथम को एलबीडब्ल्यू कर उसे परेशानी में डाला। हालांकि कॉनवे और विल यंग ने अपनी टीम को इस परेशानी से बाहर निकाल लिया। भारतीय गेंदबाजों ने इन दोनों को परेशान तो किया लेकिन विकेट पर पैर जमाने से नहीं रोक पाए। इन दोनों के बीच हुई महज 35 रनों की साझेदारी ने कीवी टीम को मैच में वापस ला दिया।
बुमराह ने कॉनवे को आउट कर भारत की उम्मीदें जगाईं, लेकिन यंग को फिर रवींद्र का साथ मिला और दोनों ने मिलकर भारत की हार तय कर दी। ये न्यूजीलैंड की भारत में 36 साल बाद पहली टेस्ट जीत है। इससे पहले कीवी टीम ने 1988-89 में खेली गई सीरीज में भारत को उसके घर में टेस्ट में हराया था। रवींद्र 39 रन बनाकर नाबाद रहे। वहीं विल यंग 47 रनों पर नाबाद लौटे। ये न्यूजीलैंड की भारत की में सिर्फ तीसरी टेस्ट जीत है।