ससुर पर दुष्कर्म का आरोप लगाया तो पति ने स्पीड पोस्ट से दिया तलाक
हरियाणा के फिरोजपुर झिरका के गांव दोहा में एक व्यक्ति द्वारा अपनी पत्नि को स्पीड पोस्ट के जरीए तलाक देने का मामला प्रकाश में आया है।
By JP YadavEdited By: Updated: Sat, 04 Aug 2018 08:25 AM (IST)
नूंह/मेवात (जेएनएन)। पिछले कई महानों से देशभर में ट्रिपल तलाक का मुद्दा गरमाया हुआ है। संसद में तीन तलाक पर रोक लगाने संबंधी बिल पास होने के बाद भी इसका दंश झेलने के लिए मुस्लिम महिलाएं अभिशप्त हैं। ताजा मामला दिल्ली से बेहद करीब हरियाणा के फिरोजपुर झिरका का है। यहां पर एक मुस्लिम महिला ने अपने ससुर के खिलाफ दुष्कर्म की आवाज उठाई तो नाराज पति ने स्पीड पोस्ट के जरिये तीन तलाक दे दिया।
पीड़िता ने पुलिस से शिकायत की, पर कार्रवाई नहीं हुई। अब उसने कोर्ट की शरण ली है।1पीड़िता के अनुसार, वह और उसकी बड़ी बहन की शादी एक ही घर में हुई है। एक साल पहले उसका गौना हुआ था। आरोप है कि ससुर उस पर गंदी नजर रखता है। 22 जुलाई की रात 10 बजे वह अपने कमरे में लेटी हुई थी, तभी ससुर कमरे में घुस आया और दुष्कर्म की कोशिश की।
शोर मचाने पर बड़ी बहन उसे बचाने आई। इस पर ससुर ने उसे व उसकी बहन को बुरी तरह मारा-पीटा और फिर रात में ही घर के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर दोनों बहनों को बाहर कर दिया गया। 123 जुलाई को पीड़िता ने अपने साथ हुई घटना की शिकायत संबंधित थाना पुलिस से की। पुलिस ने आरोपितों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की। वहीं दूसरी ओर, पति ने उसे उसी दिन तलाक देकर डाक के जरिये तलाकनामा भेज दिया। पीड़िता ने फिर पुलिस से शिकायत की, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके बाद उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। अब हरकत में आई पुलिस ने दोनों पक्षों के बयान दर्ज कराए हैं। जांच अधिकारी कृष्ण देवी का कहना है कि महिला की शिकायत के बाद पीड़ित व आरोपित पक्ष के बयान दर्ज कर लिए गए थे। इसमें कार्रवाई जारी हैं।
वहीं, महिला की इस हरकत से पति इस कदर नाराज हुआ कि उसने पत्नी से बात करने के बजाय सीधा स्पीड पोस्ट से तलाक दे दिया। जब पति का तलाकनामा स्पीड पोस्ट से पत्नी के पास पहुंचा तो वह हैरान रह गई।
तीन बार उसका तलाक बोलना महिला के ऊपर किसी पहाड़ टूटने जैसा होता है। और उस पर भी न कोई गुजारा भत्ता और न ही कोई दूसरा सहारा। दरअसल, पति को तलाक बोलने में पलभर भी नहीं लगता, लेकिन इसके बाद उस महिला पर क्या गुजरती है, वो दर्द वही जानती है।क्या है तीन तलाक
इस्लाम में भी तीन तलाक को बुरा माना जाता है। दरअसल, पति-पत्नी में अगर किसी तरह भी निबाह नहीं हो पा रहा है, तो अपनी ज़िंदगी जहन्नुम बनाने से बेहतर है कि वो अलग होकर अपनी ज़िन्दगी का सफ़र अपनी मर्ज़ी से पूरा करें जो कि इंसान होने के नाते उनका हक है। वहीं, खासकर मुस्लिम पुरुष इसका नाजायज फायदा उठाते हैं। तीन तलाक मुस्लिम समाज में तलाक का ऐसा जरिया है, जिससे कोई भी मुस्लिम शख्स अपनी बीवी को सिर्फ तीन बार तलाक कहकर अपनी शादी को तोड़ सकता है। इस्लाम में तलाक की एक प्रकिया बताई गई है और इस प्रकिया से होने वाले तलाक स्थिर होते हैं, जिसके बाद शादी का रिश्ता टूट जाता है। तीन तलाक को तलाक-उल-बिद्दत भी कहते हैं।
यहां पर बता दें कि भारत के साथ दुनिया के ऐसे 22 देश हैं, जहां तीन तलाक पूरी तरह से बैन है। सबसे पहले मिस्त्र में तीन तलाक को बैन किया गया था। हमारे पड़ोसी देश पाकिस्तान में भी तीन तलाक 1956 से ही बैन है। इसी फेहरिस्त में सूडान, साइप्रस, जार्डन, अल्जीरिया, ईरान, ब्रुनेई, मोरक्को, कतर और यूएई में भी तीन तलाक बैन है।
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