जेएनयू ने छात्रों पर फीस से सौ गुना ज्यादा लगाया जुर्माना
- पीएचडी की फीस एक साल में 374 रुपये - 40 हजार रुपये तक का लगाया गया है जुर्माना राहुल
By JagranEdited By: Updated: Fri, 03 Aug 2018 10:49 PM (IST)
राहुल मानव, नई दिल्ली : जेएनयू में एमफिल व पीएचडी पाठ्यक्रमों की जितनी फीस है। उससे सौ गुना ज्यादा जुर्माना छात्रों पर विभिन्न अनुशासनहीनता के मामलों में लगाया गया है। दिसंबर में अकादमिक परिषद की हुई बैठक के बाद से ही वामपंथी दल से जुड़े कई छात्रों ने अनिवार्य हाजिरी, स्वायत्ता जैसे मुद्दों के खिलाफ कई प्रदर्शन किए। जेएनयू प्रशासन ने विश्वविद्यालय के नियम के अनुसार छात्रों पर जुर्माना लगाया है। छात्रों पर 10 हजार रुपये से लेकर 40 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया गया है।
वहीं जेएनयू छात्र संगठन का आरोप है कि 30 छात्रों पर कुल 4 लाख 50 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया गया है। जेएनयू छात्र संगठन के संयुक्त सचिव शुभाशु सिंह ने बताया कि जेएनयू छात्र संघ के सभी पदाधिकारियों पर 40 हजार रुपये का जुर्माना लगाया गया है। मेरे साथ छात्र संघ की अध्यक्ष गीता कुमारी, उपाध्यक्ष सिमोन जोया, महासचिव दुग्गीराला श्रीकृष्ण पर जेएनयू में प्रदर्शन के कई मामलों में अनुशासनहीनता के 40 हजार रुपये का जुर्माना लगाया गया है। उन्होंने बताया कि 15 फरवरी 2018 को अनिवार्य हाजिरी के खिलाफ हस्ताक्षर अभियान चलाया गया था। तब छात्रों ने प्रशासनिक भवन के पास प्रदर्शन किया था। इस मामले में जेएनयू छात्र संघ के सभी पदाधिकारियों के खिलाफ 20 हजार रुपये का जुर्माना लगाया था।
छात्रों ने प्रोफेसर को नुकसान पहुंचाने की कोशिश की
वहीं इस मामले में जेएनयू प्रशासन की ओर से कहा गया कि विश्वविद्यालय के नियम के अनुसार ही छात्रों पर जुर्माना लगाया गया है। छात्रों ने 15 फरवरी के दिन प्रशासनिक भवन के प्रवेश द्वार को बंद कर दिया था। प्रोफेसर को भी नुकसान पहुंचाने की कोशिश की गई थी। वहीं 12 मार्च के दिन छात्रों द्वारा कल्याण कार्यालय पर प्रदर्शन किया गया था। जिसमें दोषी पाए गए छात्रों ने अपशब्द के साथ मारपीट भी की थी।
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