किसानों को आगे कर जेवर एयरपोर्ट पर लगाया जा रहा है अड़ंगा, फंसेगा कानूनी पेंच
किसानों के हाई कोर्ट जाने से परियोजना का काम शुरु होने में विलंब होगा। बताया जा रहा है कि किसानों के विरोध को कुछ नेता बल दे रहे हैं, जिनकी जमीन जेवर एयरपोर्ट परियोजना में आ रही है।
By Edited By: Updated: Tue, 04 Sep 2018 04:51 PM (IST)
नोएडा [जेएनएन]। चार गुना मुआवजे की मांग पर अड़े किसान जेवर एयरपोर्ट परियोजना को कानूनी दांव पेंच में फंसा सकते हैं। एयरपोर्ट प्रभावित गांवों को शहरी क्षेत्र में अधिसूचित किए जाने के खिलाफ किसान हाई कोर्ट जाने की रणनीति तैयार करने में जुटे हैं। बताया जा रहा है कि इन किसानों को कुछ नेताओं का भी साथ मिला हुआ है। जो अपने फायदे के लिए किसानों के विरोध को हवा दे रहे हैं।
चार गुना मुआवजे की मांग जेवर एयरपोर्ट परियोजना की जमीन अधिग्रहण पर करीब 17 सौ किसान 627 हेक्टेयर के लिए अपनी सहमति दे चुके हैं, लेकिन काफी किसान अभी भी सहमति देने को तैयार नहीं है। जबकि सहमति लेने के लिए छह सितंबर तक बढ़ाई गई समय सीमा भी करीब आ रही है। विरोध करने वाले किसान जमीन के चार गुने मुआवजे की मांग कर रहे हैं। किसान दो बार पंचायत भी की कर चुके हैं।
हाई कोर्ट जाने की तैयारी कर रहे हैं किसान
किसानों ने हाई कोर्ट जाने के लिए समिति का गठन भी कर दिया है। जो याचिका दायर करने से संबंधित सभी कार्य को अंजाम देगी। इसके साथ ही प्रभावित गांवों में ग्रामीण क्षेत्र में अधिसूचित करने के लिए प्रशासन को 14 सितंबर तक का वक्त दिया है। किसानों का तर्क है कि अगर परियोजना से प्रभावित गांवों को ग्रामीण क्षेत्र में अधिसूचित कर दिया जाता है तो वह नए भूमि अधिग्रहण कानून के तहत चार गुना मुआवजे का अधिकार पा जाएंगे इसलिए प्रशासन स्तर पर गांवों को ग्रामीण क्षेत्र में अधिसूचित करने की मांग पूरी न होने पर किसान हाई कोर्ट जाने की तैयारी कर रहे हैं।
किसानों को किया आगेकिसानों के हाई कोर्ट जाने से परियोजना का काम शुरु होने में विलंब होगा। बताया जा रहा है कि किसानों के विरोध को कुछ नेता बल दे रहे हैं, जिनकी जमीन जेवर एयरपोर्ट परियोजना में आ रही है। चार गुना मुआवजे का सीधा फायदा इन नेताओं को भी होगा। इसलिए वह किसानों को आगे करके परियोजना को कानूनी फंदे में फंसाने का प्रयास कर रहे हैं।
1334 हेक्टेयर जमीन का होना है अधिग्रहण
जेवर एयरपोर्ट परियोजना के पहले चरण के लिए 1334 हेक्टेयर जमीन का अधिग्रहण होना है। सत्तर फीसद सहमति होने पर जिला प्रशासन जमीन अधिग्रहण की धारा 11 की कार्रवाई करेगा। जमीन खरीद की प्रक्रिया को जल्द पूरा करने के लिए किसानों से सहमति के आधार पर क्रय भी किया जा सकता है। धारा 11 की कार्रवाई होने से मुआवजे दर एवं पुनर्वास के सभी फायदे किसानों को मिलने में किसी तरह की अड़चन नहीं होगी। जेवर एयरपोर्ट के जल्द से जल्द शिलान्यास का रास्ता भी साफ हो जाएगा।
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