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दिल्ली में कांग्रेस को झटका, शीला से नाराज पूर्व विधायक भीष्म शर्मा BJP में शामिल

बता दें कि शीला दीक्षित के खिलाफ मोर्चा खोलने की वजह से भीष्म शर्मा के खिलाफ कार्रवाई करते हुए उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया था।

By JP YadavEdited By: Updated: Wed, 01 May 2019 12:29 PM (IST)
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दिल्ली में कांग्रेस को झटका, शीला से नाराज पूर्व विधायक भीष्म शर्मा BJP में शामिल

नई दिल्ली, जेएनएन। Lok Sabha Election 2019: लोकसभा चुनाव के तहत जहां दिल्ली की सातों सीटों पर मतदान होने में 15 दिन से भी कम समय बचा है वहीं, कांग्रेस से पिछले दिनों निकाले गए तीन बार विधायक रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भीष्म शर्मा अपने समर्थकों के साथ मंगलवार शाम को भाजपा में शामिल हो गए। मंगलवार को प्रदेश भाजपा कार्यालय में आयोजित कार्यक्रम में राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व दिल्ली के प्रभारी श्याम जाजू व प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी ने उनका पार्टी में स्वागत किया। वह प्रदेश महामंत्री, दिल्ली जल बोर्ड के उपाध्यक्ष सहित कांग्रेस में कई महत्वपूर्ण पदों पर रह चुके हैं। 2007 में उन्हें सर्वश्रेष्ठ विधायक का पुरस्कार मिला था। पिछले दिनों पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में कांग्रेस ने इन्हें छह वर्षो के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया था।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीतियों और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष मनोज तिवारी की कार्यशैली से प्रभावित होकर कांग्रेस से 41 साल पुराना रिश्ता तोड़कर अपने समर्थकों के साथ भाजपा में शामिल होने का फैसला किया है। मोदी सरकार ने सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक करके पूरी दुनिया में भारत का नाम रोशन किया, लेकिन कांग्रेस उनसे सुबूत मांग रही है। इससे उन्हें पीड़ा हुई है। उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के पुत्र संदीप दीक्षित भी उनके क्षेत्र के सांसद रहे हैं, लेकिन उन्होंने विकास का कोई काम नहीं किया। तिवारी के सांसद बनने के बाद क्षेत्र में विकास कार्य में तेजी आई है। जाजू व तिवारी ने दावा किया कि दिल्ली की सभी सातों सीटों पर भाजपा की जीत होगी। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल अपनी निश्चित हार से बौखला गए हैं इसलिए भाजपा के प्रति अमर्यादित भाषा का इस्तेमाल कर रहे हैं।

बता दें कि शीला दीक्षित के खिलाफ मोर्चा खोलने की वजह से भीष्म शर्मा के खिलाफ कार्रवाई करते हुए उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया था। इसके विरोध में कांग्रेस के 12 से अधिक नेताओं ने भी अपना इस्तीफा राहुल गांधी को भेज दिया था। 

यहां पर बता दें कि 25 अप्रैल को दिल्ली प्रदेश कांग्रेस पार्टी (DPCC) अध्यक्ष शीला दीक्षित ने बड़ी कार्रवाई करते हुए पूर्व विधायक भीष्म शर्मा को छह साल के लिए पार्टी निष्कासित कर दिया था। बताया जा रहा है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष शीला दीक्षित को यह बड़ा निर्णय इसलिए लेना पड़ा, क्योंकि भीष्म शर्मा लंबे समय से बगावती तेवर अपनाए हुए थे।

बताया जा रहा है कि शीला दीक्षित ने भीष्म शर्मा को समझाने की कोशिश भी की और मिलने के लिए भी बुलाया, लेकिन न वह माने और न मिलने गए।

यहां पर बता दें कि अजय माकन कैंप के माने जाने वाले भीष्म शर्मा शीला दीक्षित को अध्यक्ष भी नहीं बनने देना चाहते थे। उम्मीवादवरों के ऐलान के कई दिन बाद अब शीला और जेपी अग्रवाल की उम्मीदवारी का विरोध कर रहे हैं।

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