सिग्नेचर ब्रिज से दिल्ली दर्शन का ख्वाब रह न जाए अधूरा, पढ़ें पूरी खबर
ब्रिज पर व्यू गैलरी तक ले जाने वाली चारों लिफ्ट के टेढ़े चलने के कारण श्रम विभाग की इलेक्टिकल ब्रांच ने अनुमति नहीं दी है।
By Pooja SinghEdited By: Updated: Sun, 23 Feb 2020 11:20 AM (IST)
नई दिल्ली [वी.के.शुक्ला]। यमुना पर बन कर तैयार हुए सिग्नेचर ब्रिज के मुख्य पिलर के ऊपर 154 मीटर ऊंचाई पर बनी व्यू गैलरी से पर्यटकों का दिल्ली देखने का ख्वाब अधूरा रह सकता है। ब्रिज पर व्यू गैलरी तक ले जाने वाली चारों लिफ्ट के टेढ़े चलने के कारण श्रम विभाग की इलेक्टिकल ब्रांच ने अनुमति नहीं दी है।
श्रम विभाग का कहना है कि एलिवेटर एंड लिफ्ट एक्ट के नियमों के अनुसार ऊपर से नीचे सीधे जाने वाली लिफ्ट को ही अनुमति देने का प्रावधान है। इसलिए टेढ़ी चलने वाली लिफ्ट को अनुमति नहीं दी जा सकती है। सिग्नेचर ब्रिज अब बनकर तैयार हो गया है। इसका मुख्य पिलर कुतुबमीनार से भी दोगुना यानी 154 मीटर ऊंचा है। पिलर के ऊपरी भाग में कांच की व्यू गैलरी बनाई गई है। इसकी क्षमता 60 व्यक्तियों की है। जहां से पर्यटकों को दिल्ली दर्शन की योजना है। इस व्यू गैलरी में ले जाने के लिए पिलर के अंदर चार लिफ्ट लगाई गई हैं।
एक लिफ्ट में चार लोग एक बार जा सकते हैं। एक लिफ्ट आधे रास्ते पर छोड़ेगी। इसके बाद दूसरी लिफ्ट आधे से बचे हुए रास्ते तक ले जाएगी। इसके ऊपर 60 फीट पैदल चलना होगा। इसमें करीब 80 सीढियां हैं। इसके बाद व्यू गैलरी में पहुंचा जा सकेगा। सिग्नेचर ब्रिज में जो लिफ्ट लगाई गई हैं। देश में यह प्रयोग पहली बार किया गया है। इसमें नीचे की तरफ वाली दो लिफ्ट 60 डिग्री और ऊपर वाली दो 80 डिग्री पर चलेंगी। मगर लिफ्ट के अंदर मौजूद होने वालों को इस बात का अहसास नहीं होगा कि लिफ्ट टेढ़ी चल रही है। दोनों लिफ्ट को मिलाकर 4 मिनट 80 सेकेंड में एक तरफ की यात्र पूरी होगी।
ब्रिज का उद्घाटन 4 नवंबर 2018 को किया गया था। उसी समय से इसे जनता के लिए खोल दिया गया है। अब व्यू गैलरी भी तैयार हो गई है। ब्रिज के लिए रोशनी का इंतजाम किया जा रहा है। लाइटें लगाई जा चुकी हैं। इसके लिए ट्रायल चल रहा है। वहीं ब्रिज पर पर्यटकों को ले जाने के लिए रैंप बनाया जा रहा है। ब्रिज के पास ही पार्क और पार्किग बनाई जा रही है। यह सभी कार्य 15 मार्च तक पूरा कर लिया जाएगा। दिल्ली सरकार ने बेहतरीन सिग्नेचर ब्रिज बनाया है। जो यातायात की दृष्टि से ही नहीं पर्यटन की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। इसके 154 मीटर ऊंचे मुख्य पिलर से पर्यटकों को दिल्ली दर्शन कराने की योजना है। सरकार गठन के बाद अभी इस बारे में विभाग की बैठक नहीं बुलाई है। लिफ्ट को लेकर कुछ मुद्दे हैं। जिन पर चर्चा के बाद इस बारे में फैसला लिया जाएगा।
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