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Delhi Online Classes: ऑनलाइन पढ़ाई होने के बाद भी कई स्कूलों में शिक्षक नहीं लगा रहे ऑनलाइन हाजिरी

मंगलवार की हाजिरी रिपोर्ट के मुताबिक 1030 सरकारी स्कूलों में से केवल 881 स्कूलों ने ऑनलाइन हाजिरी रिपोर्ट भरी 149 स्कूलों के कर्मचारियों ने ऑनलाइन हाजिरी नहीं लगाई यानी 44521 कर्मचारियों में से कुल 37237 कर्मचारियों ने ही ऑनलाइन हाजिरी लगाई।

By JP YadavEdited By: Updated: Wed, 04 Nov 2020 08:13 AM (IST)
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सभी स्कूल ऑनलाइन माध्यम से ही पढ़ाई करा रहे हैं।
नई दिल्ली [रीतिका मिश्रा]। देशभर में फैली कोरोना महामारी से सभी स्कूल ऑनलाइन माध्यम से ही पढ़ाई करा रहे हैं। ऑनलाइन कक्षाओं में छात्रों की रोजाना ऑनलाइन हाजिरी लगती है। तब जाकर उनकी पढ़ाई शुरू होती है। अब छात्रों की हाजिरी तो शिक्षक ऑनलाइन लगा रहे हैं, लेकिन खुद की ऑनलाइन हाजिरी नहीं लगाते। शिक्षा निदेशालय की वेबसाइट से मिले आंकड़ों के मुताबिक, दिल्ली में 1030 सरकारी स्कूल हैं, जिनमें कुल 44521 सरकारी कर्मचारी (नियमित शिक्षक, प्रधानाचार्य व उप प्रधानाचार्य) कार्यरत हैं। मंगलवार की हाजिरी रिपोर्ट के मुताबिक, 1030 सरकारी स्कूलों में से केवल 881 स्कूलों ने ऑनलाइन हाजिरी रिपोर्ट भरी, 149 स्कूलों के कर्मचारियों ने ऑनलाइन हाजिरी नहीं लगाई यानी 44521 कर्मचारियों में से कुल 37237 कर्मचारियों ने ही ऑनलाइन हाजिरी लगाई। मंगलवार यानी तीन नवंबर की हाजिरी रिपोर्ट में कुल 15794 कर्मचारी ही हाजिर थे। इनमें से 14312 कर्मचारियों ने स्कूल जाकर हाजिरी लगाई, वहीं बाकी अपने-अपने घरों से कार्य कर रहे थे। इसके अलावा, 4681 कर्मचारी तो छुट्टियों बिता रहे हैं।

राजकीय विद्यालय शिक्षक संघ के पश्चिमी जोन से जिला सचिव संत राम के मुताबिक, शिक्षा निदेशक ने प्रधानाचार्यों को जरूरत के हिसाब से शिक्षकों को स्कूल बुलाने को कहा है। प्रधानाचार्य भी मनमानी तरीके से शिक्षकों को स्कूल बुलाते हैं और बिना सुविधाओं के ऑनलाइन कक्षाएं लेने के लिए कहते हैं। उन्होंने बताया कि स्कूलों में वाइ-फाइ की सुविधा दी नहीं गई है। शिक्षकों को 200 रुपये दे दिए जाते हैं और कहा जाता है इससे डाटा पैक रिचार्ज करा लें। स्कूल में अक्सर एक साथ सभी शिक्षक इंटरनेट चलाते हैं तो नेटवर्क की बार-बार समस्या आती है। ऐसे में घर से पढ़ाने में इंटरनेट की परेशानी नहीं रहती है।

उन्होंने बताया कि इंटरनेट की इसी समस्या के चलते न शिक्षक ऑनलाइन सही से पढ़ा पा रहे हैं और ऑनलाइन हाजिरी भरने में भी समस्या आती है। उन्होंने कहा कि इंटरनेट की समस्या के साथ स्कूलों को मनमानी तरीके से शिक्षकों को स्कूल नहीं बुलाना चाहिए, क्योंकि आए दिन कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं और स्कूल में शारीरिक दूरी का इस्तेमाल चाहकर भी नहीं हो पा रहा है।

वहीं, जो शिक्षक आते हैं उनमें भी हीन-भावना देखी जा सकती है। उन्हें लगता है कि वे लंबे समय से स्कूल आ रहे हैं और बाकि शिक्षक नहीं आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि पश्चिमी जिले में कुल 58 स्कूल हैं। तीन नवंबर की हाजिरी रिपोर्ट में केवल 40 स्कूलों ने ही ऑनलाइन हाजिरी भरी। बाकी स्कूलों ने इसकी सुध भी नहीं ली। उन्होंने बताया कि इस जिले में कुल 2545 कर्मचारी कार्यरत हैं। लेकिन 1629 कर्मचारियों ने ही ऑनलाइन हाजिरी भरी है। इनमें से केवल 629 कर्मचारी ही उपस्थित थे। बाकी कर्मचारी छुट्टियों पर चल रहे हैं। किसी ने पूरे दिन की छुट्टी ली है तो किसी ने आधे दिन की। उन्होंने कहा कि इससे नियमितता नहीं बन पा रही है। ऐसे में शिक्षक अगर घर रहकर ही ऑनलाइन पढ़ाई कराएं तो शायद पढ़ाई भी अच्छे से हो जाए या फिर सभी स्कूलों में ब्रॉडबैंड कनेक्शन लगवाया जाएं ताकि शिक्षकों की इंटरनेट की समस्या खत्म हो जाए। उन्होंने इस संबंध में उप शिक्षा निदेशक को पत्र भी लिखा है।

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