अनधिकृत कॉलोनियों में रहने वालों को भी डीडीए ने राहत, 200 FAR तक निर्माण के लिए नहीं लगेगा शुल्क
अनधिकृत कॉलोनियों में रहने वालों को डीडीए ने राहत दी है। अब इन कॉलोनियों के लिए 200 एफएआर ननिर्धारित कर दिया है। इस तरह से अनधिकृत कॉलोनियों में रहने वाले अपनी संपत्ति का मालिकाना हक हासिल करने वालों को 200 एफएआर तक निर्माण के लिए अतिरिक्त शुल्क नहीं देना होगा।
By JP YadavEdited By: Updated: Fri, 25 Dec 2020 12:35 PM (IST)
नई दिल्ली [संतोष कुमार सिंह]। दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) ने भवन नियमावली 2016 में किए गए संशोधनों को अनुमति दे दी है। इन संशोधनों में प्रदूषण को कम करने पर विशेष ध्यान दिया गया है। सौर ऊर्जा, सार्वजनिक शौचालय, वायु शोधन प्रणाली एवं 25 वर्गमीटर तक वर्टिकल गार्डन बनाने के लिए अतिरिक्त अनुमति की जरूरत नहीं होगी। हालांकि, बड़े आकार का स्मॉग टावर लगाने पर दिल्ली अर्बन आर्ट कमीशन (डीयूएसी) से अनुमति लेनी होगी। रेस्तरां, ऑडिटोरियम, सिनेमाहॉल में सीढि़यों की चौड़ाई 2 मीटर से घटाकर 1.5 मीटर कर दी गई है। सरकारी भवन एवं अतिथि गृहों में अब 100 वर्गमीटर के क्षेत्रफल पर केवल एक कार पार्किंग बनाने की जरूरत होगी, अभी तक दो कारों के लिए पार्किंग बनाना अनिवार्य था।
अनधिकृत कॉलोनियों में रहने वालों को भी डीडीए ने राहत दी है। अब इन कॉलोनियों के लिए 200 एफएआर (फ्लोर एरिया रेश्यो) निर्धारित कर दिया है। इस तरह से अनधिकृत कॉलोनियों में रहने वाले अपनी संपत्ति का मालिकाना हक हासिल करने वालों को 200 एफएआर तक निर्माण के लिए अतिरिक्त शुल्क नहीं देना होगा। आपदा प्रबंधन को ध्यान में रखते हुए सड़कों की चौड़ाई निर्धारित कर दी गई है, जिससे पानी की निकासी की उचित व्यवस्था हो सके और आग जैसी घटनाओं में राहत व बचाव कार्य में किसी तरह की दिक्कत नहीं हो।
ट्रांस ओरिएंटेड डेवलपमेंट (टीओडी) की नियमावली में बदलाव करते हुए पूर्वी दिल्ली के त्रिलोकपुरी के पास स्थित संजय लेक व्यू कांप्लेक्स प्रोजेक्ट को भी मंजूरी दे दी है। 10.26 हेक्टेयर में प्रस्तावित यह प्रोजेक्ट डीडीए नेशनल बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन कापरेरेशन के साथ मिलकर पूरा करेगा।
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