अस्पताल को 25 लाख का मुआवजा देने का आदेश
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली : उपभोक्ता आयोग ने दिल्ली स्थित जयपुर गोल्डन अस्पताल को सेवा में कोताही बरतने का दोषी पाया है।
By JagranEdited By: Updated: Wed, 29 Aug 2018 10:20 PM (IST)
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली : उपभोक्ता आयोग ने दिल्ली स्थित जयपुर गोल्डन अस्पताल को सेवा में कोताही बरतने का दोषी पाते हुए मृतक के परिवार को 24 लाख रुपये का मुआवजा और 1 लाख रुपये बतौर केस खर्च देने का आदेश दिया। आयोग की पीठ में न्यायिक सदस्य ओपी गुप्ता और सदस्य अनिल श्रीवास्तव ने टिप्पणी करते हुए कहा कि मनुष्य को मानवीय रूप से सेवाएं देनी चाहिए। इस फैसले से अस्पताल के रुख में बदलाव आना चाहिए।
उत्तर पश्चिमी दिल्ली निवासी नितिन डाबला के परिवार ने रोहिणी स्थित जयपुर गोल्डन अस्पताल के खिलाफ याचिका दायर की थी। उन्होंने आरोप लगाया था कि अस्पताल के डॉक्टरों ने नितिन के इलाज में कोताही बरती। नितिन की जांघ में फोड़ा था। 9 फरवरी 2017 को उन्हें अस्पताल ले जाया गया। जांघ में काफी सूजन थी। अस्पताल ने उसी दिन सर्जरी करने का निर्णय लिया। 15 फरवरी को अस्पताल में खून चढ़ाया गया। खून काफी गाढ़ा था और पाइप में से आगे नहीं बढ़ रहा था। इलाज कर रहे डॉक्टर ने जायजा लेना भी जरूरी नहीं समझा। इस दौरान इंफेक्शन हो गया और शरीर में लाल चकते पड़ गए। उन्हें ऑक्सीजन मास्क भी नहीं लगाया गया, क्योंकि मरीज के बेड के साथ लगा सिलेंडर खाली था। डॉक्टर 15 मिनट बाद मौके पर पहुंचे और तब तक मरीज को सामान्य हालात में लाने के लिए काफी देर हो चुकी थी। डॉक्टरों ने मरीज को मृत घोषित कर दिया। आयोग से नोटिस मिलने पर अस्पताल ने जवाब दिया कि मरीज को मधुमेह की बीमारी थी और परिवार ने इस बारे में नहीं बताया। आयोग ने अस्पताल की इस दलील को नकारते हुए कहा कि इलाज शुरू करने से पहले अस्पताल की जिम्मेदारी है कि वह जरूरी जांच-पड़ताल करे।आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।