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जामिया में विद्यार्थियों के लिए डिजिटल लाइब्रेरी

सुविधा विद्यार्थी अब हजारों शोध एवं दुर्लभ पुस्तकें को देख सकेंगे ऑनलाइन विश्वविद्यालय की जाकिर हुसैन लाइब्रेरी एनडीएलआइ का है कंटेंट पार्टनर

By JagranEdited By: Updated: Wed, 29 Aug 2018 08:28 PM (IST)
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जामिया में विद्यार्थियों के लिए डिजिटल लाइब्रेरी

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली

जामिया मिलिया इस्लामिया के विद्यार्थियों के लिए अच्छी खबर है। विश्वविद्यालय की ओर से विद्यार्थियों को डिजिटल लाइब्रेरी की सौगात दी गई है। जामिया ने बुधवार को डिजिटल लाइब्रेरी के साथ छात्राओं के लिए अलग से अध्ययन कक्ष का उद्घाटन किया। इस कक्ष में 120 लड़किया एक साथ बैठ सकती हैं।

विश्वविद्यालय के जनसंपर्क अधिकारी अहमद अजीम ने बताया कि डिजिटल इंडिया और महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से यह कदम उठाया गया है। जामिया की डॉ. जाकिर हुसैन लाइब्रेरी के ओरिएंटेशन रूम में इंस्टीट्यूशनल डिजिटल रिपोजिटरी (आइडीआर) स्थापित किया गया है। यह एक तरह की डिजिटल लाइब्रेरी है, जिसमें पुराने और महत्वपूर्ण दस्तावेजों, पुस्तकों , शोध के कार्यो को संरक्षित रखते हुए उन्हें डिजिटल स्वरूप में तब्दील किया गया है। आइडीआर, राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय (एनडीएलआइ) परियोजना का हिस्सा है। जामिया की जाकिर हुसैन लाइब्रेरी एनडीएलआइ का कंटेंट पार्टनर है।

डॉ. जाकिर हुसैन लाइब्रेरी में 2016 से एनडीएलआइ परियोजना के तहत 2224 दस्तावेजों को अब तक अपलोड किया जा चुका है। इसमें 553 पाडुलिपिया, 743 दुर्लभ किताबें, 470 शोध कार्य और 31 पुराने अखबारों को अपलोड किया गया है। यह सिलसिला जारी रहेगी। डिजिटल लाइब्रेरी के तहत इन सभी दस्तावेजों को छात्र ऑनलाइन माध्यम से कहीं पर भी पढ़ एवं देख सकते हैं। जामिया के विद्यार्थी जाकिर हुसैन लाइब्रेरी में आकर इन दस्तावेजों को पढ़ सकते हैं। ऑनलाइन माध्यम से विद्यार्थियों को इन किताबों को पढ़ने के लिए एक लॉग इन बनाना होगा। इसके लिए उन्हें राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय की वेबसाइट एवं जामिया की वेबसाइट पर इन दुर्लभ किताबों को पढ़ने पंजीकृत करवाना होगा। समाप्त , राहुल मानव

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