Move to Jagran APP

125 केवीए और उससे अक्षिक क्षमता का जनरेटर सेट कर रहे हैं इस्तेमाल तो पढ़ ले ये खबर, अक्टूबर से डीपीसीसी करेगी कार्रवाई

दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) ने राजधानी में 125 केवीए अथवा उससे अधिक क्षमता वाले डीजल जनरेटर (डीजे) के सभी उपयोगकर्ताओं को अक्टूबर के आखिर तक अपने जनरेटर में उत्सर्जन नियंत्रण उपकरण स्थापित करने का आदेश दिया है।

By Vinay Kumar TiwariEdited By: Published: Fri, 24 Sep 2021 01:27 PM (IST)Updated: Fri, 24 Sep 2021 01:27 PM (IST)
125 केवीए और उससे अधिक क्षमता वाले डीजल जनरेटर के लिए डीपीसीसी ने जारी किया आदेश

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) ने राजधानी में 125 केवीए अथवा उससे अधिक क्षमता वाले डीजल जनरेटर (डीजे) के सभी उपयोगकर्ताओं को अक्टूबर के आखिर तक अपने जनरेटर में उत्सर्जन नियंत्रण उपकरण स्थापित करने का आदेश दिया है। पूर्व में दो जुलाई को जारी एक आदेश की याद दिलाते हुए डीपीसीसी ने कहा कि ऐसे डीजी सेट के मालिक अगर पहले नोटिस की तारीख से 120 दिनों के भीतर ऐसा नहीं करेंगे तो उनके खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। बृहस्पतिवार को डीपीसीसी ने इस संबंध में एक पब्लिक नोटिस भी जारी किया है।

इस नोटिस के मुताबिक वायु प्रदूषण कम करने के लिए दिल्ली में सभी डीजल जनरेटरों में उत्सर्जन नियंत्रण उपकरण रेट्रोफिट कराना या सभी उन्हें गैस आधारित जनरेटर में तब्दील करना अनिवार्य हो गया है। डीपीसीसी के मुताबिक नेशनल क्लीन एयर प्रोग्राम के तहत राष्ट्रीय स्तर पर वायु प्रदूषण में तीस फीसद की कमी करने की योजना बनाई गई है। इस योजना के तहत वायु प्रदूषण (पीएम 2.5 व पीएम 10) के स्तर को वर्ष 2024 तक तीस फीसद कम करने का लक्ष्य है।

इन संस्थानों से करना होगा संपर्क

डीपीसीसी के मुताबिक 125 केवीए या इससे अधिक क्षमता के डीजल जेनरेटर में उत्सर्जन नियंत्रण उपकरण लगवाने के लिए पांच मान्यता प्राप्त संस्थानों से संपर्क करना होगा।

1. आटोमोटिव रिसर्च एसोसिएशन आफ इंडिया, पुणे

2. इंटरनेशनल सेंटर फार आटोमोटिव टेक्नालाजी, मानेसर (हरियाणा)

3. इंडियन आयल कारपोरेशन (फरीदाबाद)

4. इंडियन इंस्टीट्य़ूट आफ पेट्रोलियम, देहरादून

5. व्हीकल रिसर्च डेवलपमेंट इस्टेब्लिशमेंट, अहमदनगर (महाराष्ट्र)


This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.