29 राज्यों की माटी के साथ दिल्ली आया देशभक्ति का जज्बा, अमृत वाटिका निर्माण में किया जाएगा इस्तेमाल
Amrit Kalash Yatra 29 राज्यों और सात केंद्र शासित प्रदेशों से 8500 कलशों में भरकर माटी लाई गई थी। 766 जिलों के 7000 ब्लाकों से अमृत कलश यात्री कलश में माटी भरकर लाए थे। महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले से आए एकनाथ ने बताया कि महाराष्ट्र के सभी जिलों से छह हजार लोग मेरी माटी मेरा देश अभियान का हिस्सा बनने आए हैं।
By Edited By: Abhishek TiwariUpdated: Tue, 31 Oct 2023 09:44 AM (IST)
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। भारत की संस्कृति और परंपराएं विविधता से भरी होने के बावजूद देशभक्ति का भाव सभी को एक सूत्र में पिरोता है। सोमवार को देशप्रेम का यह भाव 29 राज्यों की माटी के साथ राजधानी पहुंचा। मौका था कर्तव्य पथ पर मेरी माटी मेरा देश अभियान के तहत आयोजित कार्यक्रम का।
आजादी के अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में चलाए जा रहे अभियान में देश के अलग-अलग शहरों और केंद्र शासित प्रदेशों की माटी लेकर देश भक्ति के मतवाले कर्तव्य पथ पहुंचे थे। उन्होंने इस माटी को यहां बनाए गए भारत कलश में मिला दिया।
29 राज्यों और सात केंद्र शासित प्रदेशों से 8500 कलशों में भरकर माटी लाई गई थी। 766 जिलों के 7000 ब्लाकों से अमृत कलश यात्री कलश में माटी भरकर लाए थे। महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले से आए एकनाथ ने बताया कि महाराष्ट्र के सभी जिलों से छह हजार लोग मेरी माटी मेरा देश अभियान का हिस्सा बनने आए हैं।
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उन्होंने कहा, यह हमारे लिए गर्व की बात है कि शहीदों को समर्पित बनाई जा रही अमृत वाटिका के लिए मिट्टी लाने का सौभाग्य उन्हें प्राप्त हुआ है। हर भारतवासी के लिए यह हर्ष का पल है।तमिलनाडु से आए सुंदर ने कहा, यह कार्यक्रम देश को जोड़ता है। सभी को बताता है कि हमारे वीरों ने क्या किया है। तमिलनाड़ हो या आंध्र प्रदेश वे सभी भारत माता के बेटे हैं और उनकी स्मृति के लिए हम कुछ संजो पा रहे हैं यही हमारा सौभाग्य है।
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