Chhath Puja 2024: यमुना की दुर्दशा पर राजनीति तेज, हैरान कर देगा कालिंदीकुंज का ये हाल; पढ़ें खास रिपोर्ट
Chhath Puja 2024 दिल्ली में कालिंदकुज का हाल बेहद खराब है लेकिन इसके बावजूद लोग महापर्व छठ पर यहां पूजा करने को मजबूर हैं। वहीं राजनीतिक पार्टियों को भी हर साल छठ पर्व पर ही यमुना की दुर्दशा की याद आती है। अब यमुना को लेकर आप और बीजेपी के बीच जंग छिड़ी हुई है। आगे विस्तार से पढ़िए पूरी रिपोर्ट।
संतोष कुमार सिंह, नई दिल्ली। Chhath Puja 2024 प्रत्येक वर्ष महापर्व छठ पर राजनीतिक पार्टियों को यमुना की दुर्दशा की याद आती है। नदी में प्रदूषण को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष एक दूसरे को दोषी ठहराते हैं। कई दिनों तक आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति चलती है। इसका बड़ा कारण पूर्वांचल समाज को साथ जोड़कर राजनीतिक लाभ उठाना है।
यही कारण है कि छठ पूजा समाप्त होते ही इसे लेकर राजनीतिक बयानबाजी भी थम जाती है। छठ पूजा में नदी, तालाब या अन्य जल स्त्रोत में खड़े होकर सूर्य को अर्घ्य देने की परंपरा है। अन्य शहरों में नदी के तट पर अर्घ्य देने वालों की भीड़ लगती है, लेकिन जिस दिल्ली में लगभग 22 किलोमीटर यमुना का प्रवाह क्षेत्र है, वहां इसके पानी में उतरकर छठ पूजा करने पर प्रतिबंध है।
अस्थायी घाट पर लोग छठ पूजा करने को मजबूर
यमुना किनारे और शहर में अन्य स्थानों पर बने अस्थायी घाट पर लोग छठ पूजा करने को मजबूर हैं। कई लोग इस प्रतिबंध के बावजूद दूषित जल में उतरकर पूजा करते हैं। नहाय खाय के दिन भी छठ व्रत करने वाले कालिंदीकुंज में यमुना के जहरीले झाग वाले पानी में स्नान कर पूजा अर्चना करते दिखे।दिल्ली जल बोर्ड कालिंदीकुंज में अस्थायी लैब बनाकर कई दिनों से रसायन का छिड़काव कर रहा हैं, लेकिन कोई लाभ नहीं हुआ। पहले की तुलना में झाग की समस्या और बढ़ गई है।
भाजपा और आप एक दूसरे को ठहरा रहे दोषी
यमुना में प्रदूषण को लेकर पिछले कई दिनों से भाजपा व आम आदमी पार्टी के नेता एक दूसरे पर दोषारोपण कर रहे हैं। पिछले दिनों दिल्ली प्रदेश भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने आइटीओ घाट पर यमुना में डुबकी लगाकर विरोध जताया था। उसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती होना पड़ा था।उनका कहना है कि आप सरकार यमुना को प्रदूषण मुक्त करने का वादा पूरा नहीं कर सकी। नालों का गंदा पानी सीधे नदी में गिर रहा है। 37 में से 22 सीवेज उपचार संयंत्र (एसटीपी) मानक के अनुरुप नहीं हैं। यमुना की सफाई के लिए केंद्र सरकार द्वारा दी गई राशि का भी दिल्ली सरकार ने दुरुपयोग किया है।
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उधर, आप सरकार का कहना है कि हरियाणा व उत्तर प्रदेश से गंदा पानी यमुना में गिराने से यह समस्या हो रही है। ओखला बैराज में 105 एमजीडी पानी हरियाणा से आता है। 50 एमजीडी उत्तर प्रदेश से छोड़ा जाता है और शाहदरा ड्रेन से होकर इस बैराज में पहुंचता है। इसमें औद्योगिक अपशिष्ट, डिटर्जेंट व जहरीले रसायन आदि मिले होते है, जिससे कालिंदीकुंज में झाग बनता है।उत्तर प्रदेश से यमुना में गंदा पानी डाला जा रहा है, जिससे कालिंदी कुंज में झाग बन रहा है। इसे साफ करने का अभियान निरंतर चलाया जा रहा है। - गोपाल राय, दिल्ली के पर्यावरण मंत्री
अपनी विफलता छिपाने के लिए दिल्ली सरकार के मंत्री उत्तर प्रदेश पर तथ्यहीन आरोप लगा रहे हैं। सभी को मालूम है यमुना दिल्ली से उत्तर प्रदेश में जाती है। - विजेंद्र गुप्ता, दिल्ली विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष