Delhi Air Pollution: कब साफ होगी दिल्ली की हवा? बढ़ती हरियाली भी स्मॉग की चादर को चीरने को नाकाफी
दिल्ली सहित एनसीआर के शहरों की हवा जहरीली हो गई है। अन्य महानगरों की तुलना में दिल्ली प्रति व्यक्ति वन क्षेत्र में सर्वाच्च स्थान है और आंकड़ों पर नजर डालें तो दिल्ली में हरियाली का स्तर साल दर साल बढ़ रहा है लेकिन ये हरियाली आमसान में छाई स्मॉग की काली चादर को चीरने में नाकाफी साबित हो रही है।
विनीत त्रिपाठी, नई दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी में हवा व नदी में घुलता जहर लगातार नई चुनौतियां खड़ा कर रहा है और इसके विरुद्ध जंग निरंतर जारी है। ग्रीन कवर से लेकर वन्य क्षेत्र को बढ़ाने और दिल्ली में नए वन और जल स्रोत को जीवंत करने के सतत प्रयास भी हो रहे हैं।
पेड़ों के संरक्षण से जुड़े एक मामले में दिल्ली हाई कोर्ट में दाखिल दिल्ली सरकार की रिपोर्ट पर गौर करें तो दिल्ली को हरा-भरा करने के लिए हर स्तर पर पर्याप्त कदम उठाए जा रहे हैं।
अन्य महानगरों की तुलना में दिल्ली प्रति व्यक्ति वन क्षेत्र में सर्वाच्च स्थान है और आंकड़ों पर नजर डालें तो दिल्ली में हरियाली का स्तर साल दर साल बढ़ रहा है, लेकिन ये हरियाली आमसान में छाई स्मॉग की काली चादर को चीरने में नाकाफी साबित हो रही है। ऐसे में सबसे अहम सवाल यही है कि आखिर दिल्ली में शुद्ध हवा की बयार कब बहेगी?
भारत वन स्थिति रिपोर्ट- 2021 के अनुसार हरित आवरण का विश्लेषण
- कुल अभिलिखित वन क्षेत्र (आरएफए)- 102 प्रति स्क्वायर किलोमीटर
- वृक्ष आवरण (आइएसएफआर के अनुसार आरएफए के बाहर एक हेक्टेयर से कम)- 2021- 147 प्रति स्क्वायर किलोमीटर
- एक हेक्टेयर से अधिक वन क्षेत्र (वन संरक्षक के शपथ पत्र के अनुसार मानदंड
- मानित वन)- 92 प्रति स्क्वायर किलोमीटर
अन्य प्रमुख महानगरीय शहरों से दिल्ली की तुलना
आइएसएफआर-2021 और जनसंख्या जनगणना 2011 के हालिया उपलब्ध आकलन के आधार पर दिल्ली देश का सबसे हरा-भरा मेट्रो शहर है, जहां प्रति व्यक्ति वन क्षेत्र सबसे अधिक है।
महानगर वन क्षेत्र (प्रति व्यक्ति वन क्षेत्र)
दिल्ली | 11.952 |
हैदराबाद | 10.557 |
बैंगलूरू | 10.474 |
मुंबई | 6.015 |
चेन्नई | 2.610 |
कोलकाता | 0.125 |
पिछले कुछ वर्षों में दिल्ली में वृक्षारोपण (निःशुल्क वितरण सहित)
वर्ष-लक्ष्य (लाख में)-उपलब्धी (लाख में)
2018-19 28-29
2019-20 20-28
2020-21 24-32
2021-22 26-35
2022-23 43-47.64
2023-24 102-69.33 सितंबर: 2023 तक
वृक्षारोपण के बाद जीवित रहने वाले पेड़ों की दर
नोट- वृक्षारोपण 2016-19 के तीसरे पक्ष के ऑडिट में विभिन्न एजेंसियों द्वारा दी गई जानकारी
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हरियाली बढ़ाने हेतु महत्वपूर्ण कार्य
- हरित की गुणवत्ता में सुधार के लिए पर्यावरण-बहाली
- सुबबूल, विलायती कीकर व यूकेलिप्टसयूकेलिप्टस को समाप्त करना
- लैंटाना और पार्थेनियम को हटाना
- मृदा नमी संरक्षण
- यमुना बाढ़ का पुनरूद्धार एवं पुनर्स्थापन
मैदान
- देशी नदी प्रजातियों का वृक्षारोपण
- मृदा नमी संरक्षण
दिल्ली के कुल हरित, वन और वृक्ष आवरण (प्रति स्क्वायर किलोमीटर)
(आइएसएफआर-2021)
वृक्ष आवरण- 147
वन आवरण -195
ग्रीन कवर- 342
ग्रीन कवर में बढ़ोतरी का प्राथमिक कारण
• समन्वित दृष्टिकोण
• सार्वजनिक भागीदारी
• थर्ड पार्टी ऑडिट के माध्यम से प्रभावी निगरानी और अस्तित्व का निरंतर मूल्यांकन
• दिल्ली को हरा-भरा बनाने में अदालतों का निरंतर मार्गदर्शन और समर्थन
• डीपीटीए के प्रविधान के तहत प्रत्येक काटे गए पेड़ों के बदले 10 पेड़ लगाने का प्रावधान।
• वृक्ष प्रत्यारोपण और पर्यावरण सहित नई रणनीतियां-बहाली
शहरी वन
वन विभाग और वन्यजीव
मद क्षेत्र (हेक्टेयर में)
- ताज एन्क्लेव -1.175
- शास्त्री पार्क- 5.6
- गढ़ी मांडू पाकेट ए-2 - छह
- आईटीओ चुंगी - 1.83
- मित्राऊं- 39.6
- नसीरपुर - 9.51
- अलीपुर- 19
- मुखमेलपुर- 1.6
- मामुरपुर बटरफ्लाई पार्क -0.6
- बटरफ्लाई ट्रेल तुगलकाबाद -8.2
- अरावली अरण्य केंद्र तुगलकाबाद- 2.02
- हौज रानी -35.01
- कुल -130.145
यहां किया जा रहा है शहरी वनों का विकास
- कुतुबगढ़ -8.4 हेक्टेयर
- शास्त्री पार्क स्टेशन मेट्रो के पास-14.95 हेक्टेयर
- कुल -23.35
शहर में पार्कों की स्थिति
एजेंसी- एक हेक्टेयर से कम वाले पार्क- कुछ क्षेत्र- एक हेक्टेयर से अधिक वाले पार्क- कुल क्षेत्र
एमसीडी- 787 487.84 181 231.62
दिल्ली कैंट 21 8.18 3 3.15
सीपीडब्ल्यूडी 0 0 6 156
कुल 808 496.02 197 291.62
बाढ़ के मैदानों की बहाली और कायाकल्प
परियोजना का नाम क्षेत्र (हेक्टेयर)
- कालिंदी कुंज -163
- असिता पूर्व -107
- अमृत जैव विविधता 116.5
- असिता पश्चिम / यमुना वाटिका- 107
- कालिंदी जैव विविधता पार्क- 115
- यमुना वनस्थली- 236.5
- मयूर नेचर पार्क-397.75
- हिंडन सरोवर- 45
- इको-पर्यटन क्षेत्र -30