CAA पर केजरीवाल बोले- भाजपा भारत में पड़ोसी देशों के लोगों को बसा रही, लेकिन यहां युवाओं को नौकरी नहीं मिल रही
भारत में अब पाकिस्तान बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए इन देशों के अल्पसंख्यक समुदाय के शरणार्थियों को नागरिकता मिलने का रास्ता साफ हो गया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सीएए (CAA) को लागू कर दिया है। मंत्रालय ने सोमवार को नागरिकता (संशोधन) अधिनियम 2019 यानी सीएए के लिए अधिसूचना जारी कर दी। सीएए लागू होने के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की प्रतिक्रिया आई है।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारत में अब पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए इन देशों के अल्पसंख्यक समुदाय के शरणार्थियों को नागरिकता मिलने का रास्ता साफ हो गया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सीएए (CAA) को लागू कर दिया है। मंत्रालय ने सोमवार को नागरिकता (संशोधन) अधिनियम 2019 यानी सीएए के लिए अधिसूचना जारी कर दी। सीएए लागू होने के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की प्रतिक्रिया आई है।
अरविंद केजरीवाल ने सोशल साइट एक्स पर लिखा, दस साल देश पर राज करने के बाद लोकसभा चुनाव 2024 के पहले मोदी सरकार CAA लेकर आई है। ऐसे वक्त जब गरीब और मध्यम वर्ग महंगाई से कराह रहा है और बेरोजगार युवा रोजगार के लिए दर-दर की ठोकरें खा रहा है, उन असली मुद्दों का समाधान करने की बजाय ये लोग CAA लाए हैं।
कह रहे हैं कि तीन पड़ोसी राज्यों के अल्पसंख्यकों को भारत में नागरिकता दी जाएगी। यानी ये पड़ोसी देशों के लोगों को भारत में लाकर बसाना चाहते हैं। क्यों? अपना वोट बैंक बनाने के लिए। जब हमारे युवाओं के पास रोजगार नहीं है तो पड़ोसी राज्यों से आने वाले लोगों को रोजगार कौन देगा? उनके लिए घर कौन बनाएगा? क्या बीजेपी उनको रोजगार देगी? क्या बीजेपी उनके लिए घर बनाएगी?दस साल देश पर राज करने के बाद एन चुनाव के पहले मोदी सरकार CAA लेकर आयी है। ऐसे वक़्त जब गरीब और मध्यम वर्ग महंगाई से कराह रहा है और बेरोज़गार युवा रोज़गार के लिए दर दर की ठोकरें खा रहा है, उन असली मुद्दों का समाधान करने की बजाय ये लोग CAA लाये हैं।
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) March 11, 2024
कह रहे हैं कि तीन पड़ोसी…
पिछले दस सालों में 11 लाख से ज्यादा व्यापारी और उद्योगपति इनकी नीतियों और अत्याचारों से तंग आकर देश छोड़कर चले गए। उन्हें वापस लाने की बजाय ये पड़ोसी देश के गरीबों को लाकर भारत में बसाना चाहते हैं। क्यों? सिर्फ अपना वोट बैंक बनाने के लिए?
पूरा देश सीएए का विरोध करता है। पहले हमारे बच्चों को नौकरी दो, पहले हमारे लोगों को घर दो। फिर दूसरे देशों के लोगों को हमारे देश में लाना। पूरी दुनिया में हर देश दूसरे देशों के गरीबों को अपने देश में आने से रोकता है, क्योंकि इस से स्थानीय लोगों के रोजगार कम होते हैं। बीजेपी शायद दुनिया की अकेली पार्टी है जो पड़ोसी देशों के गरीबों को अपना वोट बैंक बनाने के लिए ये गंदी राजनीति कर रही है। ये देश के खिलाफ है।
खासकर असम और पूरे उत्तर पूर्वी भारत के लोग इसका सख्त विरोध करते हैं, जो बांग्लादेश से होने वाले माइग्रेशन के शिकार रहे हैं और जिनकी भाषा और संस्कृति आज खतरे में है। बीजेपी ने असम और पूरे उत्तर पूर्वी राज्यों के लोगों को धोखा दिया है। लोग इसका लोकसभा चुनाव में जवाब देंगे।
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