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'बस मार्शलों का मुद्दा एलजी के अधिकार क्षेत्र में', दिल्ली सरकार ने उपराज्यपाल से की सिफारिश

Delhi News दिल्ली सरकार ने कहा कि कैबिनेट सीडीवी (CDV) को बस मार्शलों (Bus Marshal) के रूप में तत्काल बहाली की एलजी से सिफारिश कर चुकी है। दिल्ली कैबिनेट ने अपनी सिफारिश में कहा है कि वरिष्ठ अधिकारियों ने दिल्ली सरकार को लिखित में दिया है कि बस मार्शलों के लिए नीति बनाने का अधिकार केवल एलजी के पास है।

By V K Shukla Edited By: Geetarjun Updated: Wed, 13 Nov 2024 09:31 PM (IST)
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बस मार्शल के तौर पर पूर्व की तरह सीडीवी तुरंत बहाल हों- दिल्ली सरकार
राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। एलजी वीके सक्सेना (Delhi LG VK Saxena) द्वारा सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स को प्रदूषण रोकने से संबंधित कार्य के लिए चार माह तक लगाने की अनुमति देने के बाद दिल्ली सरकार ने दावा किया कि उसकी सिफारिश पर एलजी ने सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स को रखे जाने की अनुमति दी है। दिल्ली सरकार ने मांग की है कि इन सीडीवी को बस मार्शल के लिए नियमित तौर पर नियुक्ति दी जाए। मुख्यमंत्री आतिशी ने कहा है कि उनके नेतृत्व में उनकी सरकार का मंत्रिमंडल कुछ दिन पहले ही इस बारे में एलजी से सिफारिश कर चुका है।

सरकार के अनुसा,र इस मामले में मंत्रिमंडल की बैठक में रखी गई रिपोर्ट के आधार पर कैबिनेट से प्रस्ताव किया है। इसमें सीडीवी को बस मार्शलों के तौर पर बहाली की बात कही गई थी। उस रिपोर्ट के आधार पर अपने सुझाव देते हुए उन्होंने एलजी के समक्ष आधिकारिक नोट रखा था।

बस मार्शलों का मुद्दा एलजी के अधिकार क्षेत्र में

दिल्ली सरकार ने कहा है कि दरअसल परिवहन आयुक्त द्वारा यह स्पष्ट कर दिया गया है कि बस मार्शलों का मुद्दा एलजी के अधिकार क्षेत्र में आता है। सीएम आतिशी ने अपने नोट में कहा है योजना तैयार होने तक बस मार्शलों को उसी तरह से बहाल किया जाए जैसे 31 अक्टूबर 2023 से पहले था।

बस मार्शल के रूप में उपयोग की मिले छूट

सीएम ने कहा है कि एलजी को सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स को बस मार्शल के रूप में उपयोग करने के लिए एक बार की छूट देनी चाहिए। सीएम ने 10 नवंबर 2024 को आयोजित सभी मंत्रियों की बैठक में बस मार्शलों और बसों में महिलाओं की सुरक्षा के मुद्दे पर व्यापक रूप से विचार-विमर्श किया गया।

एलजी के समक्ष रखी रिपोर्ट

सीएम आतिशी ने विचार-विमर्श की रिपोर्ट एलजी के समक्ष रखी हैं। प्रस्ताव में यह भी कहा गया है कि दिल्ली सरकार बस मार्शलों पर आने वाले सभी तरह के वित्तीय खर्च को उठाने के लिए तैयार है। बता दें कि 2012 की निर्भया घटना ने महिला सुरक्षा की कमी को उजागर किया था।

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यमुना को लेकर एलजी ने दिल्ली सरकार को घेरा

उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने यमुना में प्रदूषण के लिए दिल्ली सरकार को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा, एनजीटी के निर्देश पर जनवरी, 2023 में उनकी देखरेख में यमुना की सफाई शुरू हुई थी। तत्कालीन मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को लगा कि उन्हें इसका श्रेय नहीं मिलेगा, इसलिए छह माह बाद सुप्रीम कोर्ट जाकर इस काम पर रोक लगवा दिया। यदि यह काम जारी रहता तो आज यमुना की स्थिति कुछ और होती। वह मंडपम में भारतीय नदी परिषद द्वारा आयोजित नदी मंथन कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।

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