TMKOC Show: 'तारक मेहता का उल्टा चश्मा' का कंटेट इस्तेमाल करना अब आसान नहीं, दिल्ली HC ने सुनाया फैसला
Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah दिल्ली हाईकोर्ट ने टीवी पर आने वाले शो तारक मेहता का उल्टा चश्मा के मेकर्स को बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने शो में दिखाए जाने वाले नाम पात्रों और सामग्री के अनावश्यक उपयोग पर रोक लगा दी है। अदालत ने आदेश में कहा कि वह तमाम यूट्यूब वीडियो जिसमें अश्लीलता दिखाई गई है। उसे अपलोड करने वालों द्वारा हटाना जरूरी है।
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट ने टीवी शो तारक मेहता का उल्टा चश्मा के निर्माताओं को बड़ी राहत दी है। अदालत ने शो के नाम, पात्रों और सामग्री के अनधिकृत उपयोग पर रोक लगा दी है। शो के निर्माता द्वारा दायर मुकदमें पर कई ज्ञात और अज्ञात संस्थाओं के खिलाफ पारित अंतरिम आदेश में न्यायमूर्ति मिनी पुष्करणा की पीठ ने कहा कि यदि एकपक्षीय अंतरिम निषेधाज्ञा नहीं दी जाती है, तो वादी को अपूरणीय क्षति होगी।
अश्लील सामग्री को हटाना जरूरी-अदालत
अदालत ने कहा कि तारक मेहता का उल्टा चश्मा के किसी भी कंटेंट सामग्री या शीर्षक, पात्र को किसी अन्य वेबसाइट पर बिक्री के लिए पेश नहीं किया जा सकता। अदालत ने आदेश दिया कि यूट्यूब वीडियो, जिसमें अश्लील सामग्री सहित शो के पात्र या सामग्री शामिल है, को अपलोड करने वालों द्वारा हटाया जाना आवश्यक है।अदालत ने कहा कि अगर उल्लंघनकारी वीडियो 48 घंटे के भीतर नहीं हटाए जाते हैं तो आईटी मंत्रालय और दूरसंचार विभाग संबंधित इंटरनेट सेवा प्रदाताओं से सभी लिंक या वीडियो को हटाने के लिए कहेंगे। अदालत ने वादी को सभी उल्लंघनकारी लिंक को ब्लॉक करने के लिए यूट्यूब को सूचित करने की स्वतंत्रता भी दी।
टीवी पर 6 साल से अधिक समय से चल रहा शो
यह शो 16 साल से अधिक समय से प्रसारित हो रहा है और इसके लगभग चार हजार एपिसोड हो चुके हैं। शो के निर्माताओं ने आरोप लगाया है कि कई संस्थाएं वेबसाइट पर चलाकर, कंटेंट बेचकर और यहां तक कि यूट्यूब पर अश्लील वीडियो प्रकाशित करके इसके नाम, पात्रों की छवियों का व्यावसायिक लाभ के लिए उपयोग कर रही हैं।वादी नीला फिल्म प्रोडक्शंस प्राइवेट लिमिटेड ने कहा कि उनके शो और उसके पात्रों से संबंधित भारत में कई पंजीकृत ट्रेडमार्क पर उनके पास वैधानिक अधिकार हैं। जिनमें से कुछ ट्रेडमार्क तारक मेहता का उल्टा चश्मा, उल्टा चश्मा, तारक मेहता, जेठालाल, गोकुलधाम हैं।
वादी ने आरोप लगाया कि उसको शो के विभिन्न पात्रों और एनिमेशन का कॉपीराइट प्राप्त है, लेकिन कुछ संस्थाएं अनधिकृत रूप से वेबसाइटों और ई-कॉमर्स प्लेटफार्म के माध्यम से शो के पात्रों की छवियों और संवादों वाले टी-शर्ट, पोस्टर और स्टिकर बेच रही हैं। वादी ने दावा किया कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग करके या पात्रों के डीप फेक के साथ-साथ वीडियो गेम के उपयोग से सामग्री तैयार की गई थी।
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