प्रेमोदय खाखा की पत्नी को जमानत देने से हाईकोर्ट ने किया इनकार, कहा- दो परिवार के विश्वास पर किया हमला
दिल्ली हाई कोर्ट ने नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में निलंबित दिल्ली सरकार के अधिकारी प्रेमोदय खाखा की पत्नी सीमा रानी खाखा को जमानत देने से इनकार कर दिया है। पीड़िता गर्भवती हो गई थी और आरोप है कि प्रेमोदय की पत्नी ने उसका गर्भपात कराने के लिए दवाएं दी थीं। कोर्ट ने कहा कि यह मामला दो परिवारों के बीच के विश्वास पर हमला करने जैसा है।
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। नाबालिग लड़की से कई बार दुष्कर्म के मामले में दिल्ली हाईकोर्ट ने शुक्रवार को निलंबित दिल्ली सरकार के अधिकारी प्रेमोदय खाखा की पत्नी सीमा रानी खाखा को जमानत देने से इनकार कर दिया। कई बार दुष्कर्म के कारण पीड़िता गर्भवती हो गई थी और आरोप है कि प्रेमोदय की पत्नी ने उसका गर्भपात कराने के लिए दवाएं दी थीं।
न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा की पीठ ने सीमा रानी खाखा की जमानत याचिका खारिज करते हुए कहा कि यह मामला दो परिवारों के बीच के विश्वास पर हमला करने जैसा है। ऐसे में इस स्तर पर गवाहों को प्रभावित करने की संभावना से इन्कार नहीं किया जा सकता है।
पेमोदय खाका को 2023 में हुए थे गिरफ्तार
प्रेमोदय खाखा पर नवंबर 2020 और जनवरी 2021 के बीच एक नाबालिग लड़की से कई बार दुष्कर्म करने का आरोप लगाया गया है। प्रेमोदय खाखा अगस्त 2023 में गिरफ्तार होने के बाद वह वर्तमान में न्यायिक हिरासत में हैं। नाबालिग लड़की आरोपित के परिचित व्यक्ति की बेटी थी। वहीं, सीमा रानी पर लड़की को गर्भावस्था समाप्त करने के लिए दवाएं देने का आरोप है। वह भी न्यायिक हिरासत में तिहाड़ जेल में बंद है।सीमा रानी की जमानत याचिका का विरोध करते हुए दिल्ली पुलिस ने तर्क दिया कि उसने अपराध में सक्रिया भूमिका निभाई थी। पीड़िता द्वारा अस्पताल में मजिस्ट्रेट के सामने अपना बयान दर्ज कराने के बाद दंपति को गिरफ्तार कर लिया गया।यह भी पढ़ें- कैदियों की रिहाई में क्यों रोड़ा बने केजरीवाल? अब सुप्रीम कोर्ट पहुंचा केस, क्या है पूरा मामला
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