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लिव-इन पार्टनर की हत्या करने वाली महिला को HC से नहीं मिली बेल, प्रेमी के लिए छोड़ा था पति और मासूम बेटा

दिल्ली हाईकोर्ट ने हत्या के मामले में आरोपित महिला को जमानत देने से इनकार कर दिया है। अदालत ने कहा कि गवाह भले ही शत्रुतापूर्ण लोगों ने दी हो लेकिन उन्हें सिरे से खारिज नहीं किया जा सकता। गौरतलब है कि महिला पर सितंबर 2019 में अपने ही लिव-इन पार्टनर की हत्या का आरोप है।

By AgencyEdited By: Pooja TripathiUpdated: Wed, 25 Oct 2023 02:40 PM (IST)
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दिल्ली हाईकोर्ट ने महिला हत्यारोपी को नहीं दी जमानत। फाइल फोटो
एएनआई, नई दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट ने हत्या के मामले में आरोपित महिला को जमानत देने से इनकार कर दिया है। अदालत ने कहा कि गवाह भले ही शत्रुतापूर्ण लोगों ने दी हो लेकिन उन्हें सिरे से खारिज नहीं किया जा सकता।

गौरतलब है कि महिला पर सितंबर 2019 में अपने ही लिव-इन पार्टनर की हत्या का आरोप है। महिला अपने पति और तीन साल के मासूम बेटे को छोड़कर लिव-इन पार्टनर के साथ रहने लगी थी।

महिला 19 सितंबर, 2019 से ही जेल में है। मामले की सुनवाई करते हुए रजनीश भटनागर ने केस के तथ्यों को ध्यान में रखते हुए अनिता छेत्री को जमानत देने से इनकार कर दिया।

जस्टिस भटनागर ने मामले में आदेश देते वक्त पाया कि यद्यपि महिला का एक बच्चा है लेकिन उसके पति ने अपनी गवाही में बताया है कि वह बच्चे और पति को छोड़कर सुनील के साथ रही थी। यही नहीं वह किसी बच्चे के लिए उत्तरदायी नहीं है क्योंकि बच्चा उसके पति के साथ रह रहा है जिससे वह पहले ही अलग हो गई थी।

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