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दिल्ली के मंत्री राजेंद्र पाल गौतम की केंद्र से मांग, हाथरस मामले की हो सीबीआइ जांच

राजेंद्र पाल गौतम ने यह भी कहा कि 14 सितंबर को हाथरस के अंदर हमारे ही समाज की एक लड़की के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया गया। उसकी जीभ काटी गई उनकी गर्दन की हड्डी को तोड़ दिया गया।

By Mangal YadavEdited By: Updated: Thu, 01 Oct 2020 04:25 PM (IST)
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दिल्ली के कैबिनेट मंत्री राजेंद्र पाल गौतम की फाइल फोटो

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली के कैबिनेट मंत्री राजेंद्र पाल गौतम और विधायक अजय दत्त ने बुधवार को दिल्ली पुलिस पर उनके साथ मारपीट करने का आरोप लगाया। अजय दत ने कहा कि हाथरस की दलित बेटी के परिवार का साथ दिया तो दिल्ली पुलिस के अधिकारियों ने मुझे कमरे में बंद कर मेरे साथ मारपीट की। विधायक अजय दत्त ने केंद्रीय गृहमंत्री से मांग की कि मेरे साथ मारपीट करने वाले पुलिस अधिकारियों पर केस हो, हाथरस केस की सीबीआइ जांच हो।

वहीं, गौतम ने कहा कि दलित बेटी से दुष्कर्म और हत्या की आवाज उठाने पर दिल्ली पुलिस का चुने हुए जन प्रतिनिधि पर अत्याचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। पार्टी दोषी पुलिस अधिकारियों पर कार्रवाई के लिए हर कदम उठाएगी। जब जनप्रतिनिधि के साथ पुलिस का यह रवैया है तो आम जनता के साथ क्या हो रहा होगा? बुधवार को पत्रकार वार्ता के दौरान राजेंद्र पाल गौतम ने कहा हाथरस केस की सीबीआई जांच हो, दो महीने के अंदर चार्जशीट दाखिल हो, दोषियों को फांसी की सजा दी जाए, पीड़ित परिवार को दो करोड़ रुपये का मुआवजा और परिवार के एक सदस्य की सरकारी नौकरी दी जाए।

राजेंद्र पाल गौतम ने साधा यूपी सरकार पर निशाना

राजेंद्र पाल गौतम ने यह भी कहा कि 14 सितंबर को हाथरस के अंदर हमारे ही समाज की एक लड़की के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया गया। उसकी जीभ काटी गई, उनकी गर्दन की हड्डी को तोड़ दिया गया। इस वजह से उसके हाथ और पैर ने काम करना बंद कर दिया।

इस मामले में उत्तर प्रदेश की पुलिस ने प्राथमिक मुकदमा आईपीसी की धारा 307 के तहत दर्ज किया। उस बच्ची को न तो सही इलाज मुहैया कराया गया और जब वह बच्ची 9 दिन में होश में आई, समाज ने और परिवार ने जब दबाव बनाया, तब जाकर पुलिस ने सामूहिक दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज किया।

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